Green Chilli Benefits: हरी मिर्च खाने को तीखा और जायकेदार बनाती है। लेकिन सिर्फ इतना ही नहीं, इन मिर्चों को रोजाना खाने से हमारी सेहत को भी कई लाभ होते हैं। हरी मिर्च में विटामिन-सी, ए और आयरन होता है। मिर्ची में फास्फोरस, कॉपर जैसे तत्व भी पाए जाते हैं, जो शरीर के लिए जरूरी होते हैं। हरी मिर्च में कैप्साइसिन नाम का एक कंपाउंड होता है, जिससे हृदय रोगों से बचा जा सकता है। कैप्साइसिन तत्व से मिर्च में तीखापन भी आता है। इसके अलावा, पाचन, आंखों की रोशनी से लेकर इम्यूनिटी तक के लिए हरी मिर्च खाना फायदेमंद होता है। सोशल मीडिया पर खाने और खाने से जुड़े हैक्स काफी ट्रेंड करते हैं, इसमें एक नई टिप काफी ट्रेंड कर रही है, वो है हरी मिर्च को डंठल के साथ खाने वाली। चलिए समझते हैं पूरा मामला।
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पाचन के लिए डंठल के साथ मिर्च खाना फायदेमंंद!
दरअसल, सोशल मीडिया पर शेफ अजय ने लोगों को यह सलाह दी है कि पेट के स्वास्थ्य के लिए हमें डंठल के साथ मिर्च खानी चाहिए। इस तरह से मिर्च खाने से गट हेल्थ इम्प्रूव होती है।
इस पर एक्सपर्ट की क्या राय है?
द इंडियन एक्सप्रेस पर पब्लिश एक रिपोर्ट के अनुसार, अलग-अलग एक्सपर्ट की इस हैक पर अलग-अलग राय है। एक एक्सपर्ट का मानना है कि मिर्च के तीखेपन से या पेट के लिए डंठल के होने या ना होने का कोई मतलब नहीं है। यह बात पूरी तरह से इस पर निर्भर है कि मिर्च की खेती कैसे हुई है और कैसे वो उगाई गई है। एक अन्य एक्सपर्ट ने बताया कि हरी मिर्च पेट और इरिटेबल बाउल सिंड्रोम (IBS) में भी फायदा होता है। हरी मिर्च आंतों के लिए भी फायदेमंद है लेकिन गर्मियों में इनका सेवन ज्यादा करने से गैस की समस्या हो सकती है। गर्मियों में ज्यादा हरी मिर्च के सेवन से डिहाइड्रेशन की समस्या हो सकती है।
एक अन्य डाइटिशियन ने शेयर किया कि जिन लोगों को तीखा खाना कम पसंद हैं, वे डंठल न खाएं क्योंकि कुछ मिर्चों का डंठल ज्यादा तीखा होता है। इसलिए शेफ अजय के इस हैक को लेकर हर डॉक्टर की अलग-अलग प्रतिक्रिया है। कुछ एक्सपर्ट्स यह भी कहते हैं मिर्च का डंठल कड़वा होता है जो कि खाने का स्वाद बिगाड़ सकता है।
बेंगलुरु की डाइटिशियन वीना ने बताया कि मिर्च बनाने की विधि और मिर्च का प्रकार भी तीखेपन और पाचन प्रभाव को निर्धारित करता है। वीना ने कहा, मिर्च पकाने से कुछ मात्रा में कैप्साइसिन कम हो सकती है, जबकि मिर्च की कुछ किस्मों में भी स्वाभाविक रूप से कम कैप्साइसिन होता है, जिससे पाचन तंत्र पर इसका असर कम होता है।
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Disclaimer: ऊपर दी गई जानकारी पर अमल करने से पहले विशेषज्ञों से राय अवश्य लें।News24 की ओर से जानकारी का दावा नहीं किया जा रहा है।