Mexican scientist tested two aliens bodies: मेक्सिको के यूएफओ विशेषज्ञ की ओर से दो एलियंस की बॉडी को लेकर चौंकाने वाला दावा किया गया है। विशेषज्ञ की ओर से गैर-मानव शवों के अनावरण के लिए उन्नत तकनीक वाले यंत्रों को प्रयोग किया गया था। डॉक्टरों की ओर से भी सैंपलों का परीक्षण किया गया था।
जिसके बाद एलियंस के शवों के एक्स-रे टेस्टिंग और सीटी स्कैन की प्रक्रिया को अंजाम दिया गया। जिसके बाद स्पष्ट तौर पर दावा किया गया कि इनके निर्माण को लेकर कोई छेड़छाड़ नहीं की गई है। जबकि पहले दावा किया जा रहा था कि इन्हें कृत्रिम रूप से तैयार किया गया है। यानी निर्माण मानव या जानवरों की हड्डियों से किया गया है।
शवों के साथ नहीं की गई हेरफेर
दोनों एलियंस के ममी को 70 वर्षीय स्व-घोषित यूएफओ विशेषज्ञ जैमे मौसन की ओर से रिकवर किया गया था। जिन्होंने मेक्सिको में यूएफओ पर एक सुनवाई में पेरू की एक खदान से पिछले सप्ताह ये सैंपल लिए थे। नौसेना संस्थान के निदेशक जोस डी जीसस जल्से बेनिटेज की ओर से अब टेस्टिंग की गई है।
जिसमें साफ तौर पर कहा गया है कि शवों के साथ कोई हेरफेर नहीं की गई है। ये कंकाल के स्वरूप में है। जो किसी अन्य टुकड़ों से जुड़े नहीं हैं। जबकि पहले जो दावे किए गए थे कि निर्माण में हड्डियां का यूज किया गया है। ये दावे कहीं नहीं ठहरते।
पेरू से कैसे मेक्सिको पहुंची बॉडी, होगी जांच
मौसन की ओर से भी पहले दावा किया गया था कि ये शव स्थलीय विकास से काफी परे हैं। उनको गैर ह्यूमन डीएनए बताया गया था। दावों के बाद फोरेंसिक से जुड़े एक्सपर्ट की बातें गलत निकली हैं। लेकिन कुछ विशेषज्ञ और दूसरे लोग अभी इन निष्कर्षों की प्रामाणिकता पर सवाल उठा रहे हैं। वहीं, पेरू में भी इस बात की जांच हो रही है कि आखिर कैसे ये नमूने मौसन तक पहुंचे।
पेरू के संस्कृति मंत्री लेस्ली उर्टेगा की ओर से कहा गया है कि इस बाबत शिकायत दर्ज की गई है। मामला कैसे मेक्सिको तक पहुंच गया। इसकी जांच गहराई से की जाएगी। उधर, मौसन की ओर से कहा गया है कि उन्होंने कुछ भी गलत नहीं किया है। लेकिन वे ये भी नहीं बता सके कि उनके पास नमूने कहां से आए। बोले कि समय आने पर इसका जवाब देंगे।