Rajasthan News: राजस्थान से एक हैरान कर देने वाला मामला सामने आया है। यहां एक दलित ने आरोप लगाया है कि इलाके के एक पुलिस अधिकारी ने उनके चेहरे पर पेशाब किया और स्थानीय विधायक ने खुद शान बरकरार रखने के लिए उससे अपने जूते चटवाए। पीड़ित ने जैसे-तैसे अपनी जान बचाई। पुलिस के बड़े अधिकारियों ने भी उसकी मदद नहीं की। आखिर में कोर्ट के आदेश पर केस दर्ज किया गया है। हालांकि विधायक ने मामले से अपना पल्ला झाड़ते हुए आरोपों को खारिज किया है।
पीड़ित को खेत से उठा ले गई पुलिस
जानकारी के मुताबिक मामला जमबारामगढ़ इलाके का है। यहां के टोडालडी आंधी में एक जमीन का टुकड़ा है, जिसकी रखवाली पीड़ित और उसकी पत्नी करते हैं। आरोप है कि 30 को वह पत्नी के साथ खेत पर काम कर रहा था। इसी दौरान कुछ पुलिस वाले आए उसे जबरन उठाकर ले गए। पीड़ित का कहना है पुलिस वाले उसे जमवारामगढ़ से कांग्रेस विधायक गोपाल मीणा के बंगले पर ले गए।
यह भी पढ़ेंः अजीबोगरीबः कोर्ट में भैंस की हुई पेशी, बयान दर्ज होने के बाद मिली अगली तारीख, हैरान कर देगा ये मामला
कमरे में बंद करके किया ये काम
पीड़ित ने बताया कि पुलिस वालों ने वहां उसे एक कमरे में बंद कर दिया। पीड़ित के अनुसार, थोड़ी देर बाद कमरे में पुलिस के डिप्टी शिव कुमार भारद्वाज पहुंचे। उन्होंने गाली गलौज करते हुए जमकर मारपीट की। अपनी शिकायत में पीड़ित ने कहा है कि डिप्टी ने इस दौरान उसके चेहरे पर पेशाब किया। इसके बाद पुलिस वाले उसे बंगले के हॉल में ले गए। वहां कांग्रेस विधायक गोपाल मीणा बैठे हुए थे। विधायक को देखकर पीड़ित ने खुद को छोड़ने की गुहार लगाई।
विधायक ने रखी थी ये शर्त!
पीड़ित का आरोप है, विधायक ने उसे छोड़ने के लिए कहा कि पहले अपनी जीभ से मेरे जूते साफ कर तब जाने देंगे। अपनी जान छुड़ाने के लिए पीड़ित ने विधायक के जूते चाटे। इसके बाद पीड़ित को जाने दिया गया। इसके बाद पीड़ित ने पुलिस के अधिकारियों से मामले की शिकायत की, लेकिन कोई सुनवाई नहीं हुई। इसके बाद पीड़ित ने कोर्ट की शरण ली। कोर्ट ने विधायक समेत चार लोगों के खिलाफ केस दर्ज करने का आदेश दिया है। मामला विधायक से जुड़ा होने के कारण जांच में सीबीसीआईडी को भी लगाया गया है। हालांकि विधायक गोपाल मीणा ने आरोपों को खारिज किया है।
यह भी देखें…