नई दिल्ली: राज्यसभा और लोकसभा के सदस्य भारत के 14वें उपराष्ट्रपति चुनाव में वोटिंग के लिए तैयार हैं। वहीं, वोट डालने से दो दिन पहले संयुक्त विपक्ष की उम्मीदवार मार्गरेट अल्वा ने गुरुवार को एक वीडियो संदेश में सदस्यों से ‘बिना किसी डर के’ अपनी पसंद के उम्मीदवार को वोट देने का आग्रह किया। उपराष्ट्रपति चुनावों में पार्टी व्हिप लागू नहीं होता है।
अल्वा ने कहा, ‘भारत के उपराष्ट्रपति पद के चुनाव में बड़ी संख्या में राजनीतिक दलों द्वारा समर्थित उम्मीदवार बनना मेरे लिए एक विशेषाधिकार और सम्मान की बात है।’
My video message, to Members of Parliament, across party lines. The VP election on August 6th is not subject to party whip & is by secret ballot. MPs are expected to vote without fear, or political pressure, for the candidate they believe is best suited for this critical office. pic.twitter.com/swcBmpTsrA
— Margaret Alva (@alva_margaret) August 4, 2022
---विज्ञापन---
अपने संदेश में उन्होंने केंद्रीय मंत्री और राज्यपाल के रूप में उनके कामों का भी विवरण दिया। अल्वा उत्तराखंड, राजस्थान, गुजरात और गोवा की राज्यपाल रह चुकी हैं।
अल्वा ने कसम खाई कि अगर एम वेंकैया नायडू के उत्तराधिकारी के रूप में वे चुनी जाती हैं तो वह राष्ट्रीय महत्व के मुद्दों पर आम सहमति बनाएगी और संसद के गौरव को बहाल करने के लिए प्रत्येक सांसद के साथ काम करेंगी। बता दें कि नायडू का कार्यकाल 10 अगस्त को समाप्त हो रहा है।
6 अगस्त को होने वाले चुनावों में भाजपा के नेतृत्व वाले सत्तारूढ़ एनडीए के उम्मीदवार जगदीप धनखड़ होंगे।