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Corona JN.1 Variant: 5 आयुर्वेदिक टिप्स, कोरोना से बचाएंगे; मजबूत बनाएंगे इम्यूनिटी

Ayurvedic tips for Immunity: कोविड JN.1 वेरियंट ने सभी के मन में चिंता डाल दी है। हालांकि, यह वायरस कम खतरनाक है, लेकिन फिर भी सावधानी बहुत जरूरी है। इसलिए इम्यूनिटी को मजबूत रखने के लिए कुछ आयुर्वेदिक उपाय अपनाने चाहिए।

Edited By : Deepti Sharma | Updated: Jan 14, 2024 08:38
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Ayurvedic tips for Immunity
इम्यूनिटी बढ़ाएंगे आयुर्वेदिक टिप्स Image Credit: Freepik

Ayurvedic tips for Immunity: कोविड मामलों में बढ़ोतरी और JN.1 एक तनाव का कारण बन गया है। इस संक्रमण से बचने और हेल्दी रहने के लिए जरूरी उपाय का पालन करना और हेल्दी डाइट को अपनाना है। आयुर्वेद कई मौसमी और पुरानी बीमारियों को रोकने में मदद करता है। कोविड जेएन.1 के लक्षण, जैसे- बुखार, खांसी, नाक बहना, गले में खराश, शरीर में दर्द और थकान महसूस होती है। इम्यूनिटी को बढ़ावा देने के लिए बैलेंस डाइट पर ध्यान देना और तुलसी,अश्वगंधा और कच्ची हल्दी जैसी जड़ी-बूटियों का प्रयोग करना चाहिए।

जेएन.1 ज्यादा गंभीर नहीं है, लेकिन संक्रमण से पीड़ित के ओवरऑल हेल्थ पर भी निर्भर करता है कि वे इससे कितनी जल्दी ठीक हो सकते हैं। गंभीर बीमारियां डायबिटीज, कोलेस्ट्रॉल, तनाव और ऑटोइम्यून डिजीज, कैंसर आदि में खासकर सतर्कता होनी चाहिए। अगर आपको कोविड था या कोई गंभीर इंफेक्शन हुआ था, जिसकी वजह से आपके लंग्स में समस्या हो गई थी, तो यह नया वेरियंट फेफड़ों को और ज्यादा हानि पहुंचाने की कोशिश कर सकता है।

कोविड के खिलाफ अपनाएं ये आयुर्वेदिक टिप्स

जड़ी-बूटियों का इस्तेमाल करें

इम्यूनिटी बढ़ाने के लिए अश्वगंधा, तुलसी और हल्दी का यूज करना चाहिए। इन जड़ी-बूटियों में एंटीमाइक्रोबियल और एंटी इंफ्लेमेटरी गुण मौजूद रहते हैं, जो शरीर की सुरक्षा कर सकते हैं। आप इन्हें चाय, डायटरी सप्लीमेंट या खाना बनाते समय मसाले के तौर पर प्रयोग कर सकते हैं।

पोषक तत्वों से भरपूर आहार का पालन करें

आयुर्वेद हेल्थ बनाए रखने के लिए बैलेंस डाइट पर जोर देता है। अलग-अलग तरह के मौसमी फल और हरी सब्जियां, साबुत अनाज और लीन प्रोटीन का सेवन करना चाहिए। विटामिन सी और डी के साथ-साथ जिंक से भरपूर फूड प्रोडक्ट को शामिल करने से इम्यूनिटी मजबूत रहती है।

ये भी पढ़ें- JN.1 Variant कैसे कर सकता है फेफड़ों को संक्रमित और क्या हो सकती हैं गंभीर बीमारियां

खाने को चबा चबाकर खाएं

आयुर्वेद पेट के स्वास्थ्य और ओवरऑल सुधार पर जोर देता है। इसलिए भोजन को अच्छी तरह से चबाकर और ज्यादा खाने से बचना चाहिए। इसके अलावा, अच्छे पाचन के लिए अदरक,जीरा और सौंफ जैसे मसालों का सेवन करें।

हाइड्रेटेड रहें

पूरे दिन गर्म या गुनगुना पानी पीना पाचन में मदद करने और विषैले पदार्थों को बाहर करने के लिए एक असरदार उपाय है। आयुर्वेद में ऐसा माना जाता है कि गर्म पानी वात,पित्त और कफ को बैलेंस करता है।

रेगुलर रूटीन को फॉलो करें

आयुर्वेद शरीर में बैलेंस और गुडविल को बढ़ावा देने के लिए लगातार डेली रूटीन को फॉलो करने के लिए जोर देता है। इसमें भरपूर नींद, रोजाना एक्सरसाइज और ध्यान लगाना या योग जैसी गतिविधियां अपने रूटीन  शामिल करनी चाहिए।

Disclaimer: इसमें दी गई जानकारी पाठक खुद पर अमल करने से पहले डॉक्टर या हेल्थ एक्सपर्ट से सलाह जरूर कर लें। News24 की ओर से कोई जानकारी का दावा नहीं किया जा रहा है। 

First published on: Jan 14, 2024 08:35 AM

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