Nayab Singh Saini Challenges : लोकसभा चुनाव 2024 से पहले हरियाणा में बड़ा फेरबदल देखने को मिला। नायब सिंह सैनी ने मंगलवार को सीएम पद की शपथ ग्रहण की। इस दौरान उनके साथ पांच और विधायक कंवरपाल गुर्जर, मूलचंद शर्मा, चौधरी रंजीत सिंह चौटाला, जय प्रकाश दलाल और बनवारी लाल मंत्री बनाए गए। नायब सैनी को भले ही राज्य की कमान मिल गई, लेकिन उनके सामने पांच बड़ी चुनौतियां हैं।
1. हरियाणा में पिछले लोकसभा चुनाव के प्रदर्शन को बरकरार रखना
हरियाणा में भारतीय जनता (BJP) और जननायक जनता पार्टी (JJP) के बीच गठबंधन टूट गया है। पिछले लोकसभा चुनाव 2019 में भाजपा ने क्लीन स्वीप किया था। अब नायब सैनी के सामने सबसे बड़ी चुनौती राज्य की सभी लोकसभा सीटों पर जीत दर्ज करना है। इस बार कांग्रेस और आम आदमी पार्टी मिलकर राज्य में चुनाव लड़ेगी। ऐसे में भाजपा के लिए लड़ाई टफ हो सकती है। अगर जेजेपी अकेले चुनाव लड़ेगी तो इसका फायदा भाजपा मिलेगा।
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2. किसानों के आंदोलन को शांत करना
हरियाणा के किसान एमएसपी की गारंटी समेत अन्य मांगों को लेकर केंद्र और राज्य सरकार नाराज हैं। बृजभूषण शरण सिंह के खिलाफ महिला पहलवानों ने दिल्ली में धरना दिया। ऐसे में लोकसभा चुनाव से पहले किसानों और महिला पहलवानों को पाले लाने के लिए कोशिश रहेगी।
BJP's Nayab Singh Saini takes oath as Haryana Chief Minister
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— ANI Digital (@ani_digital) March 12, 2024
3. गैर जाट वोटरों को साधना
हरियाणा में जाट की आबादी 30 प्रतिशत है, लेकिन भाजपा राज्य में गैर जाट ओबीसी की राजनीति करती है। ओबीसी समुदाय के बड़े नेताओं के तौर पर नायब सिंह सैनी के सामने गैर जाट वर्ग को साधने की सबसे बड़ी चुनौती है।
4. तीसरी बार भाजपा सरकार बनाना
लोकसभा चुनाव के बाद हरियाणा में विधानसभा चुनाव होना है। हरियाणा में पहली बार 2014 में भाजपा की पूर्ण बहुमत की सरकार बनी थी, लेकिन पिछले चुनाव में भाजपा बहुमत के आंकड़े को नहीं छू पाई थी। ऐसे में नायब सैनी के सामने लोकसभा चुनाव के साथ विधानसभा चुनाव में भी पार्टी को जीत दिलाना सबसे बड़ी चुनौती है।
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5. सरकार और पार्टी के बीच समन्वय स्थापित करना
नायब सिंह सैनी के शपथ ग्रहण समारोह में अनिल विज नहीं पहुंचे। ऐसे में नायब सैनी के सामने पार्टी और सरकार के बीच समन्वय स्थापित करने के साथ नाराज नेताओं को मनाना बड़ी चुनौती है।