Ahmedabad-Mumbai Bullet Train Project: गुजरात में बुलेट ट्रेन प्रोजेक्ट पर लगातार काम जारी है और प्रगति पर है। अहमदाबाद और मुंबई के बीच चलने वाली यह बुलेट ट्रेन 320 किलोमीटर प्रति घंटे की रफ्तार से चलेगी, लेकिन इसकी कोई आवाज नहीं सुनाई देगी। ऐसा इसलिए होगा क्योंकि बुलेट ट्रेन रूट में 1.75 लाख से ज्यादा ध्वनि अवरोधक लगाए गए हैं। अभी तक 87.5 किलोमीटर के क्षेत्र में ध्वनि अवरोधक का काम पूरा किया गया है। इसमें वायाडक्ट के दोनों तरफ एक किलोमीटर की दूरी पर 2000 ध्वनि अवरोधक हैं।
Ahmedabad-Mumbai Bullet Train Project: Another breakthrough achievedhttps://t.co/WYtNHHujE0 pic.twitter.com/b7W398cygf
---विज्ञापन---— DeshGujarat (@DeshGujarat) August 29, 2024
प्रीकास्ट कारखाने की स्थापना
इस ध्वनि अवरोधकों का निर्माण के लिए सूरत, आनंद और अहमदाबाद में 3 मॉड्यूलर तत्व के प्रीकास्ट कारखाने स्थापित किए गए हैं। ऑपरेशन के दौरान ट्रेनों और पिपल कम्युनिकेशन के जरिए पैदा होने वाले शोर को कम करने के लिए वियाडक्ट के दोनों किनारों पर 2000 ध्वनि अवरोधक स्थापित किए जा रहे हैं।
यह भी पढ़ें: अहमदाबाद में बनेगा सबसे बड़ा फूड पार्क, भारत यात्रा के दौरान अबू धाबी के क्राउन प्रिंस का बड़ा फैसला
हाई लेवल के ध्वनि अवरोधक
इस प्रोजेक्ट में नॉइस ब्लॉकर के लिए रेल लेवल से 2 मीटर ऊंचे और 1 मीटर चौड़े कंक्रीट पैनल का इस्तेमाल किया जा रहा है। हर एक ध्वनि अवरोधक का वजन करीब 830-840 किलोग्राम है। यह ध्वनि अवरोधक ट्रेन के जरिए पैदा होने वाली वायुगतिकीय ध्वनि के साथ-साथ ट्रेन के नीचे और मैन ट्रैक से आने वाली अवाजों को ब्लॉक करने में मदद करता है। इसके ऐसा डिज़ाइन किया गया है कि यात्रियों को ट्रेन की सवारी का आनंद लेने में कोई परेशानी होगी। आवासीय और शहरी क्षेत्रों से गुजरने वाले पुलों पर 3 मीटर ऊंचे ध्वनि अवरोधक स्थापित किए जाएंगे। 2 मीटर कंक्रीट पैनल के अलावा, अतिरिक्त 1 मीटर ध्वनि अवरोधक ‘पॉलीकार्बोनेट’ और पारदर्शी होंगे।