पहलगाम में हुए आतंकी हमले के बाद इस बार अमरनाथ यात्रा को लेकर सुरक्षा व्यवस्था बेहद सख्त कर दी गई है। इस हमले के बाद केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह दो दिवसीय दौरे पर जम्मू-कश्मीर पहुंचे और सबसे पहले अमरनाथ यात्रा को लेकर एक उच्च स्तरीय बैठक की।
सूत्रों के अनुसार, गृह मंत्री ने अधिकारियों को सख्त निर्देश दिए कि यात्रा पूरी तरह से सुचारु और सुरक्षित रूप से संपन्न होनी चाहिए। उन्होंने सीमा पार से हो रही घुसपैठ पर कड़ी कार्रवाई के निर्देश भी दिए। साथ ही, सुरक्षाबलों और पुलिस को आतंकियों के खिलाफ चल रहे अभियानों को और तेज करने को कहा गया है।
बैठक में किस बात दिया गया जोर?
बैठक में संभावित खतरे का आकलन, रणनीतियों की समीक्षा, सुरक्षाबलों, खुफिया एजेंसियों और नागरिक प्रशासन के बीच समन्वय को मजबूत करने पर विशेष जोर दिया गया। गृह मंत्री ने उच्च सतर्कता बरतने, रियल टाइम इंटेलिजेंस शेयरिंग और सभी सुरक्षा एजेंसियों के बीच निर्बाध समन्वय सुनिश्चित करने की आवश्यकता पर बल दिया।
उन्होंने सुरक्षाबलों को सतर्क रहने और यात्रा मार्गों पर पर्याप्त संख्या में सुरक्षाकर्मियों की तैनाती सुनिश्चित करने के निर्देश दिए। साथ ही, एक स्थापित Standard Operating Response Mechanism के तहत प्रभावी सुरक्षा व्यवस्था लागू करने की बात कही गई।
इस उच्चस्तरीय बैठक में जम्मू कश्मीर के उपराज्यपाल मनोज सिन्हा, सेनाध्यक्ष जनरल उपेंद्र द्विवेदी, केंद्रीय गृह सचिव गोविंद मोहन, इंटेलिजेंस ब्यूरो के निदेशक, जीओसी-नॉर्दर्न कमांड, जीओसी-15 कोर, मुख्य सचिव, पुलिस महानिदेशक, और BSF, CRPF, ITBP, SSB तथा NIA के वरिष्ठ अधिकारी शामिल हुए।
Chaired a review meeting for the Amarnath Pilgrimage and evaluated the security arrangements and preparedness meant for the pilgrims. Instructed to maintain the utmost vigilance and ensure the seamless completion of the sacred journey.
Central govt and J&K administration will… pic.twitter.com/b8auExp7ID
— Amit Shah (@AmitShah) May 29, 2025
अमरनाथ यात्रा कब से शुरू होगी?
इस वर्ष अमरनाथ यात्रा 3 जुलाई से शुरू होकर 9 अगस्त तक चलेगी। रजिस्ट्रेशन प्रक्रिया पहले ही शुरू हो चुकी है। यात्रा का एक प्रमुख बेस कैंप अनंतनाग जिले के पहलगाम में स्थित है, जहां से श्रद्धालु यात्रा आरंभ करते हैं।
CAPF की करीब 580 कंपनियों की तैनाती
इस बार सुरक्षा के लिए पूरे इलाके की निगरानी ड्रोन के माध्यम से करने की योजना है। साथ ही, प्रमुख स्थानों पर सीसीटीवी कैमरे लगाए जाएंगे और एक विशेष कंट्रोल रूम से यात्रा की निगरानी की जाएगी।आधिकारिक सूत्रों के मुताबिक, केंद्र सरकार ने अमरनाथ यात्रा की सुरक्षा के लिए केंद्रीय सशस्त्र पुलिस बलों (CAPF) की करीब 580 कंपनियों की तैनाती का आदेश दिया है, जिनमें लगभग 42,000 सुरक्षाकर्मी शामिल होंगे।
सुरक्षा के साथ-साथ राज्य सरकार और उपराज्यपाल प्रशासन को तीर्थयात्रियों की सुविधाओं का भी पूरा ध्यान रखने के निर्देश दिए गए हैं। इसमें यात्रा मार्ग पर मेडिकल कैंप, भोजन और आवास की उचित व्यवस्था शामिल है ताकि श्रद्धालुओं को किसी प्रकार की असुविधा न हो।