Zodiac Signs: वैदिक ज्योतिष में सूर्य और मंगल बहुत प्रभावशाली और महत्वपूर्ण ग्रह माने गए हैं। सूर्य ग्रहों के स्वामी के रूप में स्थापित हैं, तो मंगल ग्रहों के सेनापति हैं। सूर्य-मंगल की स्थिति महत्वपूर्ण होने के कारण, इन दोनों ग्रहों के हर प्रकार के योग-संयोग, युति-प्रतियुति का असर सभी राशियों पर पड़ता है। बृहस्पतिवार 16 जनवरी, 2025 की सुबह में 8 बजकर 6 मिनट से सूर्य और मंगल आमने-सामने स्थित हो एक-दूसरे के देख रहे हैं। इसे ज्योतिष शास्त्र में सूर्य-मंगल की प्रतियुति दृष्टि कहा जाता है ।
सूर्य-मंगल की प्रतियुति दृष्टि का ज्योतिष महत्व
ज्योतिष में सूर्य और मंगल की प्रतियुति (180 डिग्री पर एक-दूसरे के सामने स्थित होना) एक महत्वपूर्ण और शक्तिशाली योग मानी जाती है। यह योग किसी व्यक्ति के स्वभाव, व्यक्तित्व और जीवन के विभिन्न पहलुओं पर प्रभाव डाल सकता है। सूर्य राजा के समान हैं और वे व्यक्ति के जीवन में उद्देश्य और मार्गदर्शन प्रदान करते हैं। मंगल एक योद्धा ग्रह हैं, जो साहसिक कार्यों, संघर्ष और दृढ़ संकल्प का प्रतिनिधित्व करते हैं। जब सूर्य और मंगल एक-दूसरे के सामने होते हैं, तो उनकी ऊर्जा और प्रभाव के आपस में टकराव से देश-दुनिया सहित सभी राशियों पर व्यापक प्रभाव पड़ता है, जो सकारात्मक और नकारात्मक दोनों होते हैं।
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सूर्य-मंगल की प्रतियुति दृष्टि का राशियों पर असर
सूर्य और मंगल की प्रतियुति दृष्टि ज्योतिष में एक शक्तिशाली योग है। यूं इसका असर सभी राशियों पर पड़ेगा, लेकिन 3 राशियों पर इसका नकारात्मक प्रभाव गहरा और गंभीर हो सकता है। ज्योतिषाचार्यों के अनुसार, इन राशियों के जातकों को विशेष सतर्कता और उपायों के साथ जीवन को संतुलित करने का प्रयास करना चाहिए।
कर्क राशि
कर्क राशि चंद्रमा द्वारा शासित होती है। सूर्य और मंगल की उग्र ऊर्जा चंद्रमा की सौम्यता के विपरीत होती है। सूर्य और मंगल की प्रतियुति दृष्टि इस राशि के जातकों पर मानसिक और भावनात्मक रूप से गहरा प्रभाव डालती है। इससे जातकों को अत्यधिक तनाव, मानसिक अस्थिरता और भावनात्मक संघर्ष का सामना करना पड़ सकता है। सूर्य-मंगल की प्रतियुति दृष्टि के प्रभाव से परिवार में कलह, विवाद और संपत्ति से जुड़े मुद्दे हो सकते हैं। स्वास्थ्य के इलाज पर अत्यधिक खर्च हो सकता है। हार्ट और बीपी की परेशानी हो सकती है। कार्यक्षेत्र में दबाव और तनाव का सामना करना पड़ सकता है। निर्णय लेने में गलती और गलतफहमियों के कारण करियर में अस्थिरता आ सकती है।
तुला राशि
सूर्य और मंगल की उग्र दृष्टि तुला राशि के संतुलन को प्रभावित करती है और जीवन के कई क्षेत्रों में उथल-पुथल ला सकती है। तुला राशि के जातकों के जीवन में इस योग के प्रभाव से दांपत्य जीवन में झगड़े, दूरियां और संबंधों में अस्थिरता आ सकती है। तलाक या लंबे समय तक रिश्ते में तनाव की संभावना हो सकती है। पेशेवर चुनौतियां आएंगी। व्यापार में साझेदार से मतभेद हो सकते हैं। सहकर्मियों या व्यापारिक साझेदारों के साथ विवाद और असहमति बढ़ सकती है। वित्तीय स्थिति कमजोर हो सकती है। स्वास्थ्य समस्याएं परेशान करेंगी। मानसिक दबाव के कारण नींद की कमी हो सकती है। आपके सामाजिक संबंध कमजोर हो सकते हैं। लोग गलतफहमियों के कारण आपसे दूरी बना सकते हैं।
मीन राशि
सूर्य और मंगल की प्रतियुति दृष्टि मीन राशि के जातकों के लिए अनुकूल नहीं है। मीन राशि के जातक स्वाभाविक रूप से शांत और विचारशील होते हैं। इस दृष्टि के कारण वे आध्यात्मिक और मानसिक रूप से अस्थिर महसूस कर सकते हैं। भ्रमित विचार, गलत निर्णय और आत्मविश्वास में कमी हो सकती है। अचानक धन हानि और खर्चों में बढ़ोतरी हो सकती है। निवेश और वित्तीय मामलों में सावधानी न रखने पर बड़ा नुकसान हो सकता है। संबंधों में अस्थिरता आने की आशंका है। परिवार और दोस्तों के साथ मतभेद हो सकते हैं। अत्यधिक संवेदनशीलता के कारण लोग आपका फायदा उठा सकते हैं। मानसिक तनाव के कारण डिप्रेशन जैसी स्थिति उत्पन्न हो सकती है।
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डिस्क्लेमर: यहां दी गई जानकारी ज्योतिष शास्त्र की मान्यताओं पर आधारित है तथा केवल सूचना के लिए दी जा रही है। News24 इसकी पुष्टि नहीं करता है।