Shadashtak Yoga: बृहस्पतिवार 16 जनवरी, 2025 की शाम 6 बजकर 19 मिनट पर बुध और गुरु ने षडाष्टक योग बनाया है। यह एक महत्वपूर्ण ज्योतिषीय घटना है। बता दें कि जब दो ग्रह एक दूसरे से 150 डिग्री के कोण पर होते हैं, तो ज्योतिष शास्त्र में इसे षडाष्टक योग कहते हैं। बुध और गुरु जैसे महत्वपूर्ण ग्रहों का षडाष्टक योग होने पर इसका प्रभाव और भी गहरा हो जाता है। अक्सर इस योग का असर अच्छा नहीं होता है, क्योंकि इसमें ग्रह कुंडली के छठे और आठवें भाव में होते हैं। शुभ ग्रहों का इन भावों में बैठना अच्छा नहीं माना जाता है। 16 जनवरी को बने बुध-गुरु के इस योग का असर देश-दुनिया और सभी राशियों के लगभग हर कार्य, व्यापार और व्यवहार पड़ेगा।
बुध-गुरु का षडाष्टक योग का महत्व
वैदिक ज्योतिष मेनी बुध ग्रह वाणी, बुद्धि, संचार और व्यापार, धन लाभ, साझेदारी, मित्रता, मनोरंजन आदि के कारक यानी स्वामी और नियंत्रक ग्रह हैं, वहीं गुरु ग्रह बृहस्पति ज्ञान, धर्म, धन, समृद्धि, विवाह, संतान, आध्यात्मिकता आदि के कारक है। जब ये दोनों ग्रह षडाष्टक योग में होते हैं, तो यह व्यक्ति के जीवन में कई बदलाव लाता है। यह योग व्यक्ति के विचारों, निर्णयों और जीवन शैली को विशेष रूप से प्रभावित करता है।
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बुध-गुरु का षडाष्टक योग राशियों पर नेगेटिव असर
ज्योतिष नियमों के अनुसार, इस योग के बनने से अक्सर ऊर्जा के प्रवाह में तनाव और असंतुलन देखने को मिलता है। बुध और गुरु के इस योग से शिक्षा, व्यापार, संवाद, रिश्तों, वित्तीय मामलों और आध्यात्मिक गतिविधियों में प्रायः बदलाव हो जाते हैं। यूं तो इस योग का असर सभी राशियों पर पड़ेगा, लेकिन 3 राशियों के जातकों को यह विशेष रूप से नेगेटिव रह सकता है। इन 3 राशियों के जातकों को इस षडाष्टक योग के कारण मानसिक, आर्थिक, और सामाजिक पहलुओं पर विशेष ध्यान देना आवश्यक होगा। आइए जानते हैं, ये 3 राशियां कौन-सी हैं?
मिथुन राशि
बुध-गुरु षडाष्टक योग का मिथुन राशि पर गहरा प्रभाव पड़ने की संभावना है। मन में बार-बार अनचाहे विचार आएंगे। छोटी-छोटी समस्याओं को लेकर तनाव बढ़ेगा, जिससे मानसिक शांति भंग हो सकती है। आय के स्रोत स्थिर नहीं रहेंगे। अनियोजित खर्चे बढ़ सकते हैं, जिससे बचत पर असर पड़ेगा। पैसे के लिए तरसना पड़ सकता है, इससे डेली के काम भी सही तरीके से नहीं हो पाएंगे। धन संबंधित फैसले लेने में असमंजस रहेगा, जिसके कारण निवेश में नुकसान हो सकता है। प्रोफेशनल लाइफ में प्रगति धीमी हो सकती है। सहकर्मियों या सीनियर के साथ मतभेद की संभावना है। घर में बात-बात पर तनाव और मतभेद हो सकते हैं। आत्मविश्वास की कमी महसूस होगी, जिसके कारण निर्णय लेना मुश्किल होगा।
कन्या राशि
बुध के प्रभाव के कारण कन्या राशि पर इस योग का प्रभाव कार्यक्षेत्र, स्वास्थ्य, और पारिवारिक जीवन में स्पष्ट रूप से दिखाई देगा। अनचाहे खर्चों के कारण वित्तीय स्थिति पर दबाव बढ़ सकता है। किसी पुराने कर्ज को चुकाने में कठिनाई हो सकती है। पाई-पाई खर्च करने के लिए सोचना पड़ सकता है। ऑफिस में देरी से काम पूरे होंगे, जिससे सीनियर्स का दबाव झेलना पड़ेगा। काम के दौरान बार-बार ध्यान भटक सकता है। टीमवर्क में असहजता और विवाद हो सकते हैं। माता-पिता या जीवनसाथी के साथ मतभेद बढ़ सकते हैं। पारिवारिक माहौल में अशांति का अनुभव होगा। अकेलापन और आत्म-संदेह हावी रहेगा। रिश्तों में दूरी और असमंजस की स्थिति हो सकती है। पुरानी बीमारियां फिर से उभर सकती हैं। नींद की कमी या अत्यधिक थकान महसूस होगी।
मीन राशि
बुध-गुरु के षडाष्टक योग के कारण मीन राशि के जातकों के जीवन में कई पहलुओं में असंतुलन पैदा हो सकता है। फिजूलखर्ची के कारण वित्तीय दबाव बढ़ेगा। योजनाबद्ध निवेश करने में असमर्थता रहेगी। धन प्राप्ति के लिए किए गए प्रयास विफल हो सकते हैं। काम में अस्थिरता और रुकावटें आएंगी। सहकर्मियों से सहयोग की कमी हो सकती है। नई जिम्मेदारियां मिलने में देरी होगी। खुद पर भरोसा कम होगा। बार-बार फैसले बदलने की प्रवृत्ति रहेगी, जिससे कार्य में अस्थिरता आएगी। चिंता और निराशा हावी हो सकती है। परिवार के सदस्यों के साथ तालमेल बिठाने में मुश्किल होगी। परिवार में किसी सदस्य के स्वास्थ्य को लेकर चिंता बनी रह सकती है। रिश्तों में भावनात्मक दूरी का अनुभव होगा। यात्रा में बाधा या अप्रत्याशित रुकावटों का सामना करना पड़ेगा।
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