Kaalchakra News24 Today, Pandit Suresh Pandey: अक्सर आपने लोगों को कहते हुए सुना होगा कि ‘मैं तो रोजाना पूजा करता हूं, लेकिन फिर भी मेरी जिंदगी में परेशानियां आती रहती हैं। नियमित रूप से देवी-देवताओं की पूजा करने के बाद भी मुझे पूजा का पूर्ण फल नहीं मिलता है।’ यदि आप भी इसी वजह से परेशान हैं, तो आज आपकी समस्या का समाधान पंडित सुरेश पांडेय देंगे।
आज के कालचक्र में पंडित सुरेश पांडेय आपको बताएंगे कि कुंडली में कौन-कौन से ग्रहों की कमजोर स्थिति के कारण व्यक्ति को उसकी पूजा का पूर्ण फल नहीं मिलता है और जीवन में एक के बाद एक परेशानियों का आगमन होने लगता है। इसी के साथ आपको 12 राशियों के उपायों के बारे में भी जानने को मिलेगा, जिनकी मदद से आप कुंडली में प्रत्येक ग्रहों को मजबूत कर सकते हैं।
इन लोगों को नहीं मिलता है पूजा का पूर्ण फल
जिन लोगों की कुंडली में गुरु और राहु ग्रह एक साथ होते हैं, उन्हें उनकी पूजा का पूर्ण फल नहीं मिलता है। ऐसे लोगों को द्वारा की गई पूजा निष्फल होती है, जिसकी वजह से ये लोग हमेशा परेशान रहते हैं। इसके अलावा इनकी कुंडली में पितृ दोष का भी निर्माण होने लगता है, जिसकी वजह से जीवन में इन्हें सफलता मिलने में अन्य लोगों की तुलना में ज्यादा परेशानियों का सामना करना पड़ता है। ऐसे में कुंडली में ग्रहों की स्थिति को मजबूत करने के लिए इन लोगों को गुरुवार के दिन पीले रंग के कपड़े धारण करने चाहिए। साथ ही सोमवार के दिन रुद्राभिषेक करें।
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शनि की टेढ़ी दृष्टि से ये लोग रहते हैं परेशान
जिन लोगों की कुंडली में पहले या 11वें भाव में शनि या राहु शत्रु राशि में होते हैं, जब तक उनके ऊपर संकट नहीं आता है, तब तक वो पूजा-पाठ नहीं करते हैं। इसके अलावा शनि की टेढ़ी दृष्टि की वजह से भी उनकी पूजा अधूरी रह जाती है और देवी-देवताओं का आशीर्वाद नहीं मिलता है। ऐसे में इन लोगों को ऊँ सोम सोमाय नम: मंत्र का नियमित रूप से जाप करना चाहिए।
ये लोग करते हैं पूजा-पाठ का दिखाना
धार्मिक मान्यता के अनुसार, जब किसी व्यक्ति की कुंडली में गुरु ग्रह कमजोर होता है, तो माना जाता है कि वो लोग पूजा करने का दिखावा करते हैं। ऐसे लोग दिल से देवी-देवताओं की आराधना नहीं करते हैं। ये लोग जब तक परेशान नहीं होते हैं, तब तक पूजा नहीं करते हैं। वहीं जिन लोगों की कुंडली में दूसरे भाव में कोई ग्रह नहीं होता है, वो मन लगाकर पूजा-पाठ नहीं कर पाते हैं। ऐसे में इन लोगों को चांदनी रात में रोजाना 15 से 20 मिनट टहलना चाहिए।
ये लोग करते हैं पूजा-पाठ का पाखंड
कुंडली में गुरु के 12वें भाव में होने से व्यक्ति पूजा-पाठ में पाखंड करता है। वहीं जिन लोगों की कुंडली में शुक्र 12वें भाव में होता है, वो जरूरत से ज्यादा बोलता है। इसके अलावा ऐसे लोगों का पूजा-पाठ में भी मन कम लगता है। इसके अलावा भविष्य में सेहत संबंधी दिक्कतों का भी सामना करना पड़ता है।
यदि आप भी जानना चाहते हैं कि आपकी कुंडली में कौन-कौन से ग्रहों की कमजोर स्थिति है, जिसकी वजह से आपको पूजा-पाठ का पूर्ण फल नहीं मिल रहा है, तो इस बारे में जानने के लिए ये वीडियो जरूर देखें।
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डिस्क्लेमर: यहां दी गई जानकारी धार्मिक और ज्योतिष शास्त्र की मान्यताओं पर आधारित है तथा केवल सूचना के लिए दी जा रही है। News24 इसकी पुष्टि नहीं करता है।