US Nuclear Sniffer Plane Explainer: इजरायल और ईरान के बीच युद्ध चल रहा है और इसमें तीसरा पक्ष अमेरिका है। ईरान और अमेरिका के बीच न्यूक्लियर डील को लेकर बातचीत चल रही थी। इजरायल और अमेरिका नहीं चाहते कि ईरान परमाणु हथियार बनाए, लेकिन इजरायल को ईरान के परमाणु ठिकानों का पता चल गया और इजरायल ने उन पर हमला कर दिया। इससे ईरान बौखला गया और इजरायल पर जवाबी कार्रवाई करते हुए हमला कर दिया। ईरान ने अमेरिका के साथ भी न्यूक्लियर डील करने से मना कर दिया। वहीं ईरान कर रुख देखकर अमेरिका ने भी सख्त रवैया अपना लिया है।
इतना ही नहीं अमेरिका ने अपने परमाणु खोजी विमान को भी फील्ड में उतार दिया है। अमेरिका का यह हाईटेक प्लेन हवा में रेडियोधर्मी और परमाणु कणों को इकट्ठा करता है, ताकि कहीं पर भी परमाणु टेस्ट या परमाणु ठिकाना होने का पता चले। बीती रात अमेरिकी के न्यूक्लियर स्निफर प्लेन WC-135R कॉन्स्टेंट फीनिक्स ने वायुसेना के ऑफुट एयरबेस से उड़ान भरी और नॉर्थ अमेरिका का चक्का लगाया। इस उड़ान को ट्रेनिंग और टेस्टिंग बताया जा रहा है। पिछली बार यह विमान साल 2022 में तब उड़ा था, जब यूक्रेन पर रूस ने हमला किया था।
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A U.S. nuclear “sniffer” plane just took off from Offutt AFB in Omaha, home to U.S. Strategic Command and is now flying strange patterns across several northern states.---विज्ञापन---This aircraft, the WC-135R Constant Phoenix, only goes up when there’s a serious nuclear concern. It’s one… pic.twitter.com/9yVfYNeRAk
— Voice From The East (@EasternVoices) June 17, 2025
क्यों भरी विमान ने उड़ान?
इजरायल और ईरान युद्ध के बीच अमेरिका ने परमाणु खोजी विमान क्यों उड़ाया? एयरफोर्स ने प्लेन की टेस्टिंग क्यों की? इस बारे में कहा जा रहा है कि अमेरिका ईरान के परमाणु ठिकानों पर हमला कर सकता है। ईरान के परमाणु ठिकानों को लोकेट करने के लिए अमेरिका इस विमान का इस्मेमाल कर सकता है, क्योंकि इस विमान को परमाणु मिशन के लिए डिजाइन किया गया है और यह विमान तभी इस्तेमाल किए जाते हैं, जब परमाणु हमला होने का खतरा हो, परमाणु टेस्ट होने का अंदेशा हो या परमाणु ठिकाने का पता लगाना हो।
अमेरिका के पास कितने विमान?
अमेरिका के पास 3 WC-135R विमान और 22 RC-135 विमान हैं। बीते दिन उड़ान भरने वाला परमाणु खोजी विमान नवनिर्मित मॉडल है, जो मई 2023 में नेब्रास्का के औफुट एयरफोर्स बेस पर सर्विस देने आया। RC-135 विमान को स्ट्रैटजिक एयर कमांड ने साल 1992 में एयर कॉम्बैट कमांड को सौंपा दिया गया था। RC-135 बेड़ा परमानेंटली औफुट एयरफोर्स बेस में तैनात है। दुनियाभर में अमेरिकी वायु सेना की 55वीं विंग इन विमानों की देख-रेख करती है।
🚨 | BREAKING: U.S. Nuclear “Sniffer” plane has just taken off from Omaha and is now flying unusual patterns across multiple states.
It only flies when there’s a serious nuclear threat.
This follows Israeli strikes on Iranian nuclear facilities and escalating threats of… pic.twitter.com/NqJ0Rn3UNp
— Hank™ (@HANKonX) June 16, 2025
अमेरिका के पास कौन-कौन से विमान?
अमेरिकी वायु सेना के पास 3 RC-135S कोबरा बॉल, 2 RC-135U कॉम्बैट सेंड, 17 RC-135V/W रिवेट जॉइंट हैं। RC-135 विमानों के 8000 से अधिक फाइटर मिशन पूरे कर चुके हैं। इन ऑपरेशंस में डेजर्ट स्टॉर्म, डेजर्ट शील्ड, नॉर्दर्न वॉच, सदर्न वॉच, इराकी फ्रीडम और एंड्योरिंग फ्रीडम शामिल हैं।
RC-135 विमान कितना खतरनाक?
परमाणु खोजी विमान RC-135 प्लेन को बोइंड कंपनी ने बनाया और डिजाइन किया है। जनरल डायनेमिक्स, लॉकहीड, LTV, ई-सिस्टम्स और L3 टेक्नोलॉजी इसमें लगे सबसे मॉडर्न उपकरण हैं। प्लेन RC-135 स्ट्रैटोलिफ्टर के एयरफ्रेम पर बेस्ड है।
क्या है खोजी विमान का काम?
अमेरिका के अलावा ब्रिटेन की रॉयल एयरफोर्स के पास भी यी विमान हैं। यह परमाणु खोजी विमान अमेरिका-ब्रिटेन की सेनाओं और खुफिया एजेंसियों के लिए काम करते हैं। उन्हें रीयल टाइम डेटा, दुश्मन के सैन्य और परमाणु ठिकानों की लोकेशन, उसका एनालिसिस करके आउटपुट रिपोर्ट देने का काम करते हैं। विमान पहिए में लगे कैमरों से दुश्मन के ठिकानों की तस्वीरें लेने में भी सक्षम हैं।
कब से एयरफोर्स का हिस्सा?
अमेरिकी एयरफोर्स में सबसे पहले RC-135 फैमिली के खोजी विमान शामिल हुए। RC-135A प्लेन RC-135 फैमिली का पहला मेंबर है, जो एयरफोर्स में परमानेंटली शामिल हो गए हैं, लेकिन इससे पहले RC-135S प्लेन को 1961 में एक खोजी मिशन में शामिल किया था। 1962 में RC-135D की सेवाएं ली गई थीं।
RC-135 की विशेष बातें
क्रू मेंबर्स- 2 पायलट और 2 नेविगेटर
कैपेसिटी- 21 से 27 एक्पर्ट (मिशन के अनुसार)
लंबाई- 136 फीट 3 इंच (41.53 मीटर)
पंख- 130 फीट 10 इंच (39.88 मीटर)
ऊंचाई- 41 फीट 8 इंच (12.70 मीटर)
खाली विमान का वजन- 56245 किलोग्राम
टेकऑफ के दौरान वजन- 146284 किलोग्राम
मैक्सिमम स्पीड- 933 किलोमीटर प्रति घंटा
मैक्सिमम रेंज- 5552 किलोमीटर