BHU News: उत्तर प्रदेश (Uttar Pradesh) के वाराणसी (Varanasi) स्थित बनारस हिंदू विश्वविद्यालय (BHU) के इंस्टीट्यूट ऑफ मेडिकल साइंसेस (IMS-BHU) के सर सुंदरलाल अस्पताल (Sir Sunderlal Hospital) प्रबंधन की ओर से चार MBBS छात्रों और उनके स्थान पर फर्जी तरीके से इंटर्नशिप (MBBS Interns) कर रहे तीन अन्य के खिलाफ मुकदमा दर्ज कराया है।
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अस्पताल के अधिकारियों ने दर्ज कराया मुकदमा
थाना लंका पुलिस में मुकदमा दर्ज कराते हुए अस्पताल के अधिकारियों ने बताया कि एमबीबीएस के बाद एक साल की अनिवार्य इंटर्नशिप होती है। इस दौरान चार एमबीबीएस छात्रों ने अस्पताल के वार्डों में काम करने के लिए गैर-चिकित्सकीय व्यक्तियों को अपने स्थान पर लगा दिया।
इन छात्रों के खिलाफ हुई कार्रवाई
लंका इंस्पेक्टर बृजेश कुमार सिंह ने बताया कि बीएचयू के एसएसएल अस्पताल के सुरक्षा निरीक्षक की शिकायत पर एमबीबीएस इंटर्न नितिन, शुभम, सौमिक डे, कृति अरोड़ा, मिर्जापुर निवासी मोहित सिंह, अभिषेक, प्रिति चौहान समेत अन्य के खिलाफ मुकदमा दर्ज कराया गया है। उन्होंने बताया कि मामले में जांच और सबूत जुटाना शुरू कर दिया है। जांच के बाद आगे की कार्रवाई की जाएगी।
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प्रबंधन ने पैनल से कराई मामले की जांच
इस मामले में एसएसएल अस्पताल के चिकित्सा अधीक्षक प्रोफेसर केके गुप्ता ने बताया कि आगे की जांच के लिए एक पैनल बनाने के लिए आंतरिक जांच रिपोर्ट आईएमएस-बीएचयू के निदेशक को सौंपी गई है। वहीं लंका थाने के जांच अधिकारी ने सबूत और मामले का विवरण मांगा था, जो उन्हें भेज दिया गया है।
इनके स्थान पर ये कर रहे थे ड्यूटी
बता दें कि मामला तब सामने आया जब अस्पताल प्रशासन ने कुछ संदिग्ध युवकों को पकड़ा और उनसे पूछताछ की। जांच के दौरान सुरक्षाकर्मियों द्वारा पकड़े गए युवकों की पहचान मोहित और अभिषेक के रूप में हुई। उनसे कड़ाई से पूछताछ की तो उन्होंने बताया कि एमबीबीएस इंटर्न नितिन, शुभम और सौमिक ने उन्हें अस्पताल की इमरजेंसी सेवाओं समेत वार्डों में ड्यूटी करने और सूचना देने के लिए काम पर रखा था।
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रजिस्टर में फर्जी कर रहे थे हस्ताक्षर
प्रीति ने कहा कि वह कृति अरोड़ा के स्थान पर काम कर रही है। चिकित्सा अधिक्षक ने बताया कि फर्जी इंटर्नशिप कर रहे आरोपियों ने ड्यूटी रजिस्टर पर हस्ताक्षर भी किए। इंटर्न इन फर्जी लोगों को डिजिटल मोड से भुगतान भी कर रहे थे। घटना के बाद सभी वार्डों में चौकसी बढ़ा दी गई है।
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