Greater Noida News: पश्चिमी उत्तर प्रदेश में माल ढुलाई की तस्वीर बदलने जा रही है. बोड़ाकी में मल्टीमॉडल लॉजिस्टिक हब पर काम शुरू होने के बाद अब डीएमआईसी इंटीग्रेटेड टाउनशिप में एक और बड़ा लॉजिस्टिक प्रोजेक्ट आकार ले रहा है. इसके तहत ग्रीनफील्ड मल्टीमॉडल लॉजिस्टिक हब विकसित किया जाएगा.
ग्लोबल टेंडर प्रक्रिया शुरू
ग्रेटर नोएडा प्राधिकरण ने ग्लोबल टेंडर प्रक्रिया शुरू कर दी है. इस परियोजना को पब्लिक-प्राइवेट पार्टनरशिप (पीपीपी) मॉडल पर विकसित किया जाएगा. दुनिया भर की दिग्गज कंपनियों को इसमें भाग लेने का अवसर दिया गया है.
तीन महीने में कंपनी का होगा चयन
प्राधिकरण की योजना है कि अगले तीन महीनों में विकास के लिए कंपनी को अंतिम रूप दे दिया जाए. इसके लिए उन अंतरराष्ट्रीय कंपनियों से संपर्क किया जा रहा है जो बड़े पैमाने पर लॉजिस्टिक इंफ्रास्ट्रक्चर के विकास का अनुभव रखती हैं. अधिकारियों को निर्देश दिए गए हैं कि वे संभावित कंपनियों के समक्ष प्रजेंटेशन देकर परियोजना की संभावनाओं को विस्तार से बताएं.
सीईओ कर रहे माॅनिटरिंग
ग्रेटर नोएडा प्राधिकरण के सीईओ एनजी रवि कुमार स्वयं इस परियोजना की माॅनिटरिंग कर रहे है. अगले महीने प्री-बिड मीटिंग आयोजित की जाएगी, जिसमें कंपनियों से सुझाव लेकर परियोजना में आवश्यक संशोधन किए जाएंगे.
रेलवे कनेक्टिविटी से उद्योगों को मिलेगा सीधा लाभ
ग्रीनफील्ड मल्टीमॉडल लॉजिस्टिक हब को अत्याधुनिक सुविधाओं से लैस बनाया जाएगा. इसमें रेलवे ट्रैक, ट्रेन यार्ड, मेंटेनेंस शेड, वेयरहाउस, कॉमर्शियल कॉम्प्लेक्स, डॉरमेटरी और रेलवे कंट्रोल टावर जैसी व्यवस्थाएं विकसित की जाएंगी.
डीएफसी से सीधे जुड़ेगा
यह परियोजना डेडीकेटेड फ्रेट कॉरिडोर (डीएफसी) से सीधे जुड़ी होगी. इससे माल की ढुलाई तेज और सुलभ होगी, जिससे स्थानीय उद्योगों को निर्यात में गति मिलने की उम्मीद है. उद्योग जगत का मानना है कि इस परियोजना से लॉजिस्टिक लागत घटेगी और रोजगार, निवेश के नए अवसर भी पैदा होंगे.
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