के जे श्रीवत्सन, भीलवाड़ा: स्टांप पेपर पर महिलाओं की खरीद-फरोख्त के मामले में नया मोड़ आया है। राष्ट्रीय बाल आयोग के अध्यक्ष प्रियंक कानूनगो ने जहाजपुर क्षेत्र के किसी गांव में पहुचकर जांच की। जांच के दौरान कानूनगो को दो गांव में 46 बालिकाएं लापता मिली। इसके बाद आयोग के अध्यक्ष ने क्षेत्र के आला अधिकारियों को आवश्यक दिशा निर्देश दिए हैं।
बता दें जहाजपुर क्षेत्र मैं स्टांप पेपर पर लड़कियों की खरीद-फरोख्त के मामले सहित बाल अधिकारों के हनन की परियोजनाओं की जांच के लिए आज जहाजपुर उपखण्ड क्षेत्र में राष्ट्रीय बाल संगरक्षण आयोग अध्यक्ष प्रियंक कानूनगो ने क्षेत्र के इटुन्दा, घौड़ खजूरी सहित कई गांवों का दौरा किया। इस सिलसिले में इटुन्दा व घौड़ पंचायत की स्कूल आंगनबाड़ी केंद्रों में पहुंच कर जायजा लिया।
इस दौरान दोनों गांव मैं तकरिबन 34 बालिकाएं लापता मिली। जिस पर डाटा देखा तो स्कूल में कितनी बालिकाओं के नाम दर्ज हैं? वह कब से वहां नहीं आ रही है? जो बालिकाएं वहां नहीं आ रही थी, उनमें से कई के मकानों पर कानूनगो पहुंचे। परिजनों द्वारा जानकारी लेने पर संतोषप्रद जवाब नहीं मिला। ऐसे में इन बालिकाओं को मिसिंग मानकर इनका पता लगाने के लिए जहाजपुर एसडीएम दामोदर खटाना व पुलिस के आला अधिकारियों को निर्देश दिए।
गौरतलब है कि पंढेर में जिन बालिकाओं को बेचे जाने की बात सामने आई थी, वह मामला जांच पड़ताल में 2019 का निकला है और जिस कलेक्टर आशीष मोदी व पुलिस अधीक्षक आदर्श सिद्ध ने संयुक्त रूप से प्रेस वार्ता में खुलासा किया था कि इस मामले में पहले ही 25 आरोपियों की गिरफ्तारी हो चुकी है। यह मामला नया नहीं है।
वहीं हाल ही में मांडलगढ़ क्षेत्र में स्टांप पर युवतियों के बेचने की भी शिकायत मिली थी लेकिन जांच पड़ताल में युवतियों ने खुद ही पुलिस के सामने उपस्थित होकर साफ किया है कि उन्हें किसी ने नहीं बेचा है। पुलिस विभाग ने इस संबंध में 2 दिन पहले एक प्रेस नोट जारी कर इस बात का खुलासा किया था कि 3 में से 2 महिलाओं से पूछताछ हो चुकी है और ऐसा कोई साक्ष्य नहीं मिला जिनमें उन्हें बेचे जाने की जानकारी हो। जबकि महिला दूरस्थ प्रदेश में होने से यहां नहीं पहुंच पाई, लेकिन उन्होंने भी यहां जल्द ही आने की बात कही थी।