Ajmer: एसओजी की निलंबित एसपी दिव्या मित्त्ल जमानत याचिका निरस्त करने को लेकर दायर याचिका पर मंगलवार को सुनवाई होनी थी। लेकिन अब यह सुनवाई 11 जुलाई को होगी। इस दौरान मामला सामने आने के बाद पहली बार मीडिया से मुखातिब होते हुए दिव्या ने कहा कि मेरे ऊपर एक सुनियोजित योजना के तहत आरोप लगाए गए हैं। मैं बिल्कुल निर्दोष हूं। इसकी किसी भी स्तर से जांच कराई जा सकती है।
मैंने एक भी रुपए की डिमांड नहीं की
दिव्या ने आगे कहा कि फरार साथी काॅन्स्टेबल सुमित बर्खास्त नहीं हैं। उसने पुलिस की सेवा से त्याग पत्र दे दिया है। एसीबी ने मुझे जिस मामले में अरेस्ट किया था, उस मामले में एक ही रिकार्डिंग है। मुझे जो सीडी मिली है, उसमें जो शब्द है वह अलग है। इसके अलावा जो परिवादी ने बताया हैं, उसे भी मेरा बताया है। एक भी रुपए की डिमांड मैंने नहीं की है।
6 जून को एसीबी ने दर्ज किया मामला
बता दें कि जमानत निरस्त करने की मांग को लेकर एसओजी ने एनडीपीएस अदालत में अर्जी दायर की थी। याचिका में कहा गया कि आरोपी ने गलत तथ्य देकर जमानत पाई है। 10 अप्रैल को दिव्या को जमानत मिल गई थी। इसके अलावा एसीबी ने आय से अधिक संपत्ति मामले में 6 जून को दिव्या और उसके सहयोगी सुमित कुमार पर मामला दर्ज किया था।
यह है मामला
बता दें कि 4 जनवरी को शिकायतकर्ता ने एसीबी को बताया कि दिव्या ने उसके दलाल के जरिए 2 करोड़ की रिश्वत मांगी गई है। आरोपियों को 25 लाख काम से पहले और 25 लाख काम के बाद देने की बात तय हुई थी। आरोपी दलाल ने उस दौरान पैसा नहीं लिया। रिश्वत की रकम लेने से पहले एसीबी ने दिव्या को 16 जनवरी को गिरफ्तार कर लिया था। इसके बाद टीम ने उन्हें पकड़कर अजमेर से जयपुर लाई थी। फिलहाल दिव्या हाईकोर्ट से जमानत पर बाहर है।