अजमेर से संदीप टाक की रिपोर्टः अजमेर स्थित ख्वाजा मोइनुद्दीन चिश्ती की दरगाह में विवादित नारे लगाने का मामला सामने आया है। इसके बाद खादिम और जायरीन आपस में भिड़ गए। जायरीनों की माने तो बरेलवी समाज के कुछ लोगों ने दरगाह के अंदर नारेबाजी की। इसके बाद पुलिस ने बीच बचाव कर मामला शांत करवाया।
शरारती तत्वों पर कार्रवाई की मांग
खादिमों की संस्था अंजुमन के सचिव सैयद सरवर चिश्ती ने नारेबाजी पर कड़ी आपत्ति जताते हुए (Ajmer Sharif Dargah) कार्रवाई की मांग की ।उन्होंने जिला प्रशासन को लिखित में भी एक पत्र देते हुए कहा कि उर्स प्रारंभ होने से पूर्व ही ऐसे शरारती तत्वों के विरुद्ध कार्यवाही की मांग की गई थी। उन्होंने कहा कि कुछ लोगों को चिन्हित कर उनके विरुद्ध कार्रवाई की मांग की गई है।
खादिमों ने जताई नाराजगी
रात्रि को भी दरगाह की शाहजहानी मस्जिद में विवाद की स्थिति उत्पन्न हो गई थी तथा (Ajmer Sharif Dargah) जायरीन खादिम युवक आपस में भिड़ गए थे। एक युवक कों दरगाह थाना पुलिस द्वारा हिरासत में भी लिया गया। उर्स के दौरान हुई नारेबाजी से खादिमों ने गहरा रोष व्यक्त किया है। सरवर चिश्ती ने कहा कि ऐसे तत्वों को समय पर रोका जाना आवश्यक है अन्यथा माहौल खराब हो सकता है। ऐसे लोग जानबूझकर अपने शरारती दिमाग से ख्वाजा साहब की शांति पूर्ण स्थली को बदनाम करने की मंशा रखते हैं ।
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हर वर्ष आयोजित होता है उर्स
हर वर्ष उर्स मशहूर सूफी संतों में से एक चिश्ती की पुण्यतिथि पर आयोजित किया जाता है। चिश्ती को गरीब नवाज के नाम से भी जाना जाता है, उर्स के दौरान अजमेर शरीफ दरगाह में बड़ी संख्या में लोग पहुंचते हैं और चादर चढ़ाते हैं। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी भी हर वर्ष उर्स के दौरान अपनी तरफ से दरगाह के लिए चादर चढ़ाने के लिए भिजवाते हैं, इस वर्ष भी उनकी चादर यहां चढ़ाई गई है।
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