Bhopal: मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने आज मंत्रि-परिषद की बैठक में कहा कि मध्यप्रदेश में जन-कल्याण का महायज्ञ चल रहा है। प्रदेश के साढ़े आठ करोड़ नागरिकों के कल्याण के लिए सरकार संकल्पित है। मुख्यमंत्री लाड़ली बहना योजना के 10 जून के कार्यक्रम और किसान -कल्याण के 13 जून के कार्यक्रम सफल हुए। यह सप्ताह इस द्ष्टि से काफी महत्वपूर्ण रहा । किसानों और बहनों को मंत्रि-परिषद की ओर से बधाई दी गई ।
मंत्रि-परिषद के सदस्यों और प्रशासनिक टीम को इन कार्यक्रमों और योजनाओं के सफल क्रियान्वयन के लिए बधाई देते हुए मुख्यमंत्री चौहान ने कहा कि मुख्यमंत्री लाड़ली बहना योजना ,पहली बार किसी योजना के त्वरित क्रियान्वयन का यह अनोखा उदाहरण है।
सामाजिक परिवर्तन की वाहन बनेगी योजना
यह किसी भी योजना के प्रारंभ होने और बहुत कम समय में अमल की द्ष्टि से अपने आप में एक रिकार्ड है। मुख्यमंत्री लाड़ली बहना योजना के क्रियान्वयन के लिये अधिकारी -कर्मचारियों ने निरंतर परिश्रम किया। मुख्यमंत्री ने कहा कि कल्याणकारी योजनाएं नागरिकों का जीवन बदलने का कार्य करेंगी। मुख्यमंत्री लाड़ली बहना योजना का लाभ लेने वाली बहने आनंदित हैं। यह योजना सामाजिक परिवर्तन की वाहक बनेगी।
किसानों को मिल सकेगा खाद और बीज
मुख्यमंत्री ने कहा कि किसानों के कल्याण के लिये 13 जून को राजगढ़ में 3 महत्वपूर्ण योजनाओं में करीब साढ़े छह हजार करोड़ रूपये की राशि अंतरित की गई। जहां राज्य सरकार ने पूर्व सरकार द्वारा डिफाल्टर किसानों की ब्याज राशि को माफ करते हुए उन्हें डिफाल्टर होने से मुक्ति दिलवाकर खाद और बीज प्राप्त करने का हकदार बनाया है, वही प्रधानमंत्री फसल बीमा योजना की 2900 करोड़ रूपये की राशि भी लगभग 49 लाख किसानों को प्रदान की गई। साथ ही मुख्यमंत्री किसान- कल्याण योजना में 1400 करोड़ रूपये की राशि किसानों के खाते में डाली गई।
रक्षा मंत्री ने जन कल्याणकारी योजनाओं की तारीफ की
अब बहनों की तरह किसानों को भी प्रतिमाह ₹1000 की राशि प्राप्त होगी। भारत सरकार से मिलने वाली 6 हजार रुपए वार्षिक किसान सम्मान निधि की तरह मध्यप्रदेश में भी मुख्यमंत्री किसान -कल्याण योजना के 6 हजार रुपए मिलाकर वर्ष में कुल 12 हजार रुपए किसानों को प्राप्त होंगे। केंद्रीय रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने मध्यप्रदेश सरकार के किसानों और बहनों के लिये लागू किये गये कल्याणकारी कार्यक्रमों की मुक्त कंठ से प्रशंसा की । मुख्यमंत्री चौहान ने कहा कि राजगढ़ में बड़ी संख्या में किसानों और बहनों की उपस्थिति उनके प्रसन्नता का उदाहरण थी।