Gujarat CM Bhupendra Patel: गुजरात से आम नागरिक और किसानों को लेकर एक बड़ी खबर सामने आई है। दरअसल, राज्य सरकार द्वारा गुजरात में प्रॉपर्टी खरीदने प्रोसेस को असान कर दिया है। राज्य सरकार ने गुजरात में डिजिटलीकरण को बढ़ावा देने और कृषि भूमि विक्रय मामलों में पारदर्शिता लाने के लिए ऑनलाइन प्रोसेस को लेकर अहम फैसला लिया हैं। इसके साथ गुजरात के लोगों के लिए अब प्रॉपर्टी खरीदना आसान हो जाएगा। राज्य सरकार ने यह फैसला अहमदाबाद के आसपास के गांवों में लगातार बढ़ रही प्रॉपर्टी की मांग देखते हुए किया है।
મુખ્યમંત્રી શ્રી ભૂપેન્દ્રભાઈ પટેલના નેતૃત્વમાં ‘પોલિસી ડ્રિવન સ્ટેટ’ તરીકે ગુજરાતની અવિરત વિકાસ યાત્રા.#3YearsOfSeva#3YearsOfAgresarGujarat pic.twitter.com/Z7PNQE29vt
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मुख्यमंत्री भूपेन्द्र पटेल का फैसला
दरअसल, अहमदाबाद के साथ-साथ उसके आसपास के गांवों में लगातार विकास हो रहा है। जिसकी वजह से अहमदाबाद के पड़ोसी गांवों की जमीन की कीमतें बढ़ रही है। इसी को देखते हुए मुख्यमंत्री भूपेन्द्र पटेल ने कृषि भूमि विक्रय मामलों के लिए ऑनलाइन प्रोसेस को लेकर महत्वपूर्ण निर्णय लिए हैं। सीएम भूपेन्द्र पटेल के सामने प्रस्ताव आया कि खेती की इजाजत नहीं मिलने पर मूल किसान-मालिक के सत्यापन के मामलों में रिकॉर्ड की अनुपलब्धता होती है, जिसकी वजह से किसानों और आवेदकों को कई समस्याओं का सामना करना पड़ रहा है। सीएम भूपेंद्र ने किसानों की मूल वास्तविकता के सत्यापन के संबंध में रिकॉर्ड उपलब्ध नहीं होने के कारण विक्रय-पत्र और गैर-कृषि मंजूर मामलों को आसान बनाने का उद्देश्य से यह फैसला लिया लिए हैं।
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ऑनलाइन रिकॉर्ड की जांच
इस फैसले के तहत किसान होने के उपलब्ध ऑनलाइन रिकॉर्ड की जांच करने के बाद, सभी राजस्व प्राधिकारी किसान की पहचान के लिए नोट को प्रमाणित करने का फैसला लेगा। किसान बिक्री नोट को प्रमाणित करने का निर्णय लेते समय प्रामाणिकता प्रमाण पत्र पर जोर नहीं देगा। हालांकि, ऐसी कृषि भूमि के स्वामित्व विलेख में विक्रय नोट दर्ज करते समय, कृषक को निर्धारित प्रपत्र में एक शपथ पत्र प्रस्तुत करना होगा कि वह खुद किसान है।