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BJP का ‘जहां झुग्गी-वहीं मकान’ देने का वादा झूठा, चुनाव के बाद झुग्गियों को तोड़ देती है: AAP

AAP targets Center for removal of slums: आम आदमी पार्टी ने केंद्र सरकार पर निशाना साधते हुए कहा कि बीजेपी हर चुनाव से पहले झुग्गी वालों को 'जहां झुग्गी-वहीं मकान' देने का वादा करती है और चुनाव के बाद झुग्गियों को तोड़ देती है।

Edited By : News24 हिंदी | Updated: Jan 12, 2024 20:51
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AAP targets Center for removal of slums
AAP ने झुग्गी-झोपड़ियों को लेकर लेकर केंद्र पर बोला हमला (फोटो- एक्स)

AAP targets Center for removal of slums in Delhi: आम आदमी पार्टी (AAP) ने केंद्र सरकार द्वारा दिल्ली की सभी झुग्गियां को तोड़ने का आदेश देने का सख्त विरोध किया है। AAP की वरिष्ठ नेता आतिशी का कहना है कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को झुग्गियों और उनमें रहने वाले लोगों को देखकर शर्म आती है और वो उनसे परेशान हैं। इसलिए केंद्र सरकार ने दिल्ली से झुग्गियों का पूरी तरह से सफाया करने का फरमान दिया है। उन्होंने बताया कि पीएम मोदी के सलाहकार तरुण कपूर ने एमसीडी, रेलवे और  डीडीए के साथ बैठक कर अफसरों को आदेश दिया है कि दिल्ली से झुग्गियों का पूरी तरह सफाया करना है।

‘हम किसी झुग्गी को तोड़ने नहीं देंगे’

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आतिशी ने  कहा कि भाजपा हर चुनाव में ‘जहां झुग्गी-वहीं मकान’ देने का वादा करती है और चुनाव बाद झुग्गियों को तोड़ देती है, लेकिन जब तक आम आदमी पार्टी और अरविंद केजरीवाल हैं, तब तक हम किसी झुग्गी को तोड़ने नहीं देंगे। उन्होंने कहा कि झुग्गीवालों के अधिकारों के लिए AAP सड़क, कोर्ट और संसद तक लड़ाई लड़ेगी, ताकि ऐसी ठंड में भाजपा झुग्गी में रहने वालों को बेघर न कर पाए।

आतिशी और सौरभ भारद्वाज ने की प्रेस कॉन्फ्रेंस

आम आदमी पार्टी की वरिष्ठ नेता और  कैबिनेट मंत्री आतिशी और सौरभ भारद्वाज ने शुक्रवार को पार्टी मुख्यालय में संयुक्त प्रेसवार्ता की और दिल्ली की झुग्गियों में रह रहे लोगों को केंद्र सरकार द्वारा बेघर करने करने की रची जा रही साजिश का खुलासा किया। इस दौरान आतिशी ने कहा कि बीजेपी दिल्ली में हर चुनाव से पहले विज्ञापन निकालती है और झुग्गी वालों से फॉर्म भरवा कर कहती है कि उनको इन झुग्गियों की जगह मकान देंगे।

‘बीजेपी को झुग्गीवाले पसंद नहीं हैं’

आतिशी ने कहा कि एमसीडी चुनाव से पहले प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कालकाजी के झुग्गी वालों को 500 मकान दिए थे और अखबारों में फुल पेज का एक विज्ञापन निकालकर वादा किया कि हर किसी को उनकी झुग्गियों के बदले 5 किलोमीटर के दायरे में पक्का मकान देंगे, लेकिन जैसे ही चुनाव खत्म हुआ, झुग्गियों को तोड़ने का नोटिस पिछले साल जनवरी से आने लगे। यहां लगभग 15 हजार लोग रहते हैं। बीजेपी चुनाव से पहले जहां झुग्गी, वहां मकान देने का वादा करती है और चुनाव के बाद कहती है कि हमें झुग्गीवाले पसंद नहीं हैं। हम झुग्गी तोड़ डालेंगे और उनको फुटपाथ पर ले आएंगे।

‘झुग्गियों को साफ करने की साजिश रच रह बीजेपी’

AAP की वरिष्ठ नेता आतिशी ने कहा कि बीजेपी कहती है कि झुग्गी वालों को 50 किलोमीटर दूर नरेला में फेंक देंगे, जहां स्कूल, नौकरियों और आवागमन के लिए कोई साधन नहीं है। ऐसा पिछले कई साल से दिल्ली में चल रहा है। बीजेपी शासित केंद्र सरकार अब दिल्ली से झुग्गियों को साफ करने की सुनियोजित ढंग से एक साजिश रच रही है। इसको लेकर 9 नवंबर को प्रधानमंत्री कार्यालय में एक मीटिंग हुई। इस मीटिंग को प्रधानमंत्री के सलाहकार तरुण कपूर ने लिया।

‘झुग्गी वालों को पूरी तरह से साफ कर देने का दिया गय आदेश’

आतिशी ने कहा कि तरुण कपूर की इस बैठक में दिल्ली की सभी लैंड जमीन मालिक एजेंसी जैसे एमसीडी, डीडीए, रेलवे और एलएंडडीओ के सभी अधिकारियों को बुलाया गया और आदेश दिया गया कि दिल्ली में पूरी तरह से झुग्गियों को साफ करना है। किसी भी जमीन पर झुग्गी नहीं रहनी चाहिए। झुग्गी वालों को पूरी तरह से साफ कर देना है। बुलडोजर की भी जरूरत पड़े तो इन झुग्गियों को हटाना है।

कैबिनेट मंत्री ने कहा कि केंद्र सरकार की एलएंडडीओ एजेंसियों ने नवंबर 2023 में डीपीएस मथुरा रोड के ठीक पीछे सुंदर नगरी की झुग्गियों को ग्रेप के नियमों को अनदेखा कर ध्वस्त किया। आखिर झुग्गियों को तोड़ने के लिए साजिश क्यों रची जा रही है? क्योंकि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी दिल्ली में झुग्गियां नहीं चाहते हैं।

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आतिशी ने कहा कि जी-20 समिट में इन झुग्गियों को हरे कपड़े से छिपाया गया था, लेकिन जब तक दिल्ली में अरविंद केजरीवाल सरकार और आम आदमी पार्टी है, तब तक झुग्गीवासियों के अधिकार के लिए लड़ते रहेंगे। फिर चाहे कोर्ट जाना पड़े या फिर सड़क से लेकर संसद तक ही क्यों न जाना पड़े, लेकिन दिल्ली में एक भी झुग्गी को तोड़ने नहीं देंगे। ऐड़ी-चोटी का जोर लगा दिया जाएगा कि बीजेपी शासित केंद्र सरकार इस ठिठुरती ठंड में झुग्गीवालों को सड़क पर न ले आए और उनके घर न उजाड़े।

जब तक लोगों का पुनर्वास नहीं होगा, उनको उजाड़ा नहीं जा सकता है- सौरभ भारद्वाज

वहीं, सौरभ भारद्वाज ने कहा कि देश के हर बड़े शहर दिल्ली, मुंबई या कोलकाता में अलग-अलग जगहों पर जेजे कलस्टर हैं। जेजे कलस्टर समाज की सच्चाई है। मिडिल, अपर मिडिल क्लास वाले लोगों के घरों में साफ-सफाई करने वाली मेड, बच्चों की देखभाल करने वाली आया, ड्राइवर, कपड़े प्रेस करने वाला धोबी, चौकीदार, सब्जीवाला, फलवाला इन झुग्गी कलस्टर में रहते हैं। इन लोगों को यहां रहना अच्छा नहीं लगता, लेकिन मजबूरी है।

सौरभ भारद्वाज ने कहा कि सरकार की झुग्गियों को हटाने के लिए एक खास तरह की पॉलिसी होती है। इस पॉलिसी के तहत लैंड ऑनिंग एजेंसी झुग्गी में रहने वाले लोगों के लिए वहां पर छोटे फ्लैट बनाकर देती है। ऐसा देश के कई इलाकों समेत विदेशों में भी होता है।

AAP नेता ने कहा कि केंद्र सरकार की जमीन में लोगों को पुर्नवास करने की जिम्मेदारी केंद्र सरकार व डीडीए की होती है। वहीं, दिल्ली सरकार की जमीन में लोगों को पुर्नवास करने की जिम्मेदारी दिल्ली सरकार या डूसिब (दिल्ली शहरी आश्रय सुधार बोर्ड) की है, लेकिन पिछले डेढ़-दो सालों में जिन झुग्गियों को तोड़ा जा रहा है, उनमें से अधिकतर केंद्र सरकार की जमीन पर बनी हुई हैं। यहां के लोगों को कड़कती ठंड में उजाड़ा जा रहा है। एक तरफ बीजेपी कहती है कि रैनबसेरों में इतने बेसहारा लोग क्यों हैं, जबकि सच्चाई यह है कि ये बेसहारा लोग वह हैं, जिनको पिछले कुछ सालों में बेघर कर दिया गया है।

‘सुप्रीम कोर्ट ने केंद्र सरकार को झुग्गी वालों के पुनर्वास का दिया आदेश’

कैबिनेट मंत्री ने कहा कि दिल्ली में झुग्गियां उजाड़ने को लेकर अप्रैल 2023 में सुप्रीम कोर्ट ने केंद्र सरकार को कहा कि कुछ तो रहम करो। इन झुग्गी वालों का पहले पुनर्वास करो। मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल के विधासभा क्षेत्र सरोजनी नगर में भी केंद्र सरकार गरीब लोगों को उजाड़ने के लिए तत्पर है। सवाल यह उठता है कि केंद्र सरकार ऐसे गैरकानूनी काम को कर कैसे सकती है। ये देश का कानून है कि जब तक लोगों का पुनर्वास नहीं होगा, उनको उजाड़ा नहीं जा सकता है।

‘डीडीए ने हजारों लोगों को उजाड़ दिया’

सौरभ भारद्वाज ने कहा कि जी-20 के लिए दिल्ली के उपमुख्यमंत्री के आदेश के बावजूद धौलाकुंआ की झुग्गियों को उजाड़ दिया गया, वहां रहने वाले लोगों को बेघर कर दिया गया। महरौली के गौसिया कॉलोनी में केंद्र सरकार की एजेंसी डीडीए ने हजारों लोगों को उजाड़ दिया, जबकि यहां के लोगों को कोर्ट से स्टे मिला हुआ था और ये नोटिफाई कलस्टर है। ये कॉलोनी काफी पुरानी और पुनर्वास के लिए पात्र है। ऐसे में यहां के लोगों को जब तक मकान नहीं दिया जाता, तब इस कॉलोनी को उजाड़ा नहीं जा सकता है।

AAP नेता ने कहा कि मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार, तुगलकाबाद में केंद्र सरकार की ऑर्कियोलॉजी विभाग ने करीब ढाई लाख लोगों को उजाड़ दिया, जबकि इससे पहले कोर्ट में इन्होंने कहा था कि इन लोगों का पुनर्वास किया जाएगा। अब ये ढाई लाख लोग उजड़ने के बाद कहां गए होंगे। जो इंसान नौकरी करता है, जिसके छोटे-छोटे बच्चे हैं, जवान बेटियां हैं, वह अपने परिवार के साथ रैन बसेरे में रहने तो नहीं जाएगा। हर जगह कोर्ट में डीडीए यह कहता है कि उजड़े लोगों को डूसिब रैन बसेरे में ले जाएगा। ये कैसे संभव है। केंद्र सरकार षडयंत्र के तहत इन लोगों को उजाड़ रही है।

‘अधिकारियों और वकीलों की मिलीभगत से कलस्टर को उजाड़ा गया’

सौरभ भारद्वाज ने कहा कि पूरी बेइमानी और धोखेबाजी करने के बाद सुंदर नगरी में नर्सरी के पीछे के कलस्टर को उजाड़ा गया। ऊपर से दबाव की वजह से अधिकारियों व वकीलों की मिलीभगत से ये काम किया गया, जबकि ये नोटिफाइड कलस्टर था, उसको पुनर्वास किए जाने तक उजाड़ा नहीं जा सकता था। इसके बावजूद केंद्र सरकार की एलएंडडीओ ने इस कलस्टर को उजाड़ दिया।

कैबिनेट मंत्री ने कहा कि पिछले महीने नई दिल्ली विधानसभा क्षेत्र के सफदरजंग रेलवे के पास झुग्गियों को रेलवे ने उजाड़ने की कोशिश की थी। उन्होंने डिमोलिशन ड्राइव शुरू कर दी। जब झुग्गी में रहने वाले लोग कोर्ट गए तो उनको स्टे मिला, फिर भी झुग्गी को उजाड़ने की कोशिश जारी रही। इसके बाद मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल खुद वहां पहुंचे, तब जाकर डिमोलिशन का कार्य रुका।

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News24 हिंदी

First published on: Jan 12, 2024 08:51 PM

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