Raipur AIIMS Embezzlement: छत्तीसगढ़ की राजधानी रायपुर में स्थित अखिल भारतीय आयुर्विज्ञान संस्थान ( AIIMS) में लगभग पांच करोड़ रुपये के गबन का मामला सामने आया है। एम्स की तरफ से गठित तीन सदस्यीय टीम ने शुरुआती जांच में ही 30 लाख रुपये की गड़बड़ी पकड़ ली है। अब टीम पांच वर्षों के दस्तावेजों की जांच करेगी।
तीन महीने पहले देने पड़ती है सूचना
मामला यह है कि एम्स में नौकरी छोड़ने से पहले डॉक्टरों को नियमानुसार तीन महीने पहले आवेदन के देकर प्रबंधन को इसकी सूचना देनी पड़ती है। जो डॉक्टर इस अवधि को पूरा किए बिना बीच में ही नौकरी छोड़ता है, तो उसे नोटिस पीरियड के बचे दिनों में बनने वाले वेतन की राशि का भुगतान करना होता है।
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फाइनेंस और अकाउंट विभाग ने किया खेल
एम्स के बहुत से डॉक्टरों ने नोटिस पीरिएड में नौकरी छोड़ी है। ऐसे में यहां के फाइनेंस एंड अकाउंट विभाग के अधिकारियों और कर्मचारियों ने दो प्रकार से खेल किया है। पहला, डॉक्टरों से राशि लेकर नई रसीद के बदले तीन-चार वर्ष पुरानी रसीद दे दी और उस पैसे को AIIMS के खाते में जमा ही नहीं किया। दूसरा, जिन डॉक्टरों ने डिमांड ड्राफ्ट जमा किया उन्हें कुछ समय बाद लेनदेन करके डिमांड ड्राफ्ट लौटा दिया गया और इस पैसे का गबन कर लिया गया।
इस मामले को लेकर एम्स निदेशक डॉ. अजय सिंह ने कहा कि इसकी पूरी जानकारी ले रहा हूं। जांच में जो भी दोषी पाए जाएंगे, उन पर नियमानुसार कार्रवाई होगी।