Bihar Caste Census: बिहार में चल रही जातिगत जनगणना जारी रहेगी। सुप्रीम कोर्ट ने इसे रोकने को लेकर लगाई गई याचिका पर सुनावाई करने से मना कर दिया है। अखिलेश कुमार ने बिहार सरकार के जातीय जनगणना कराने के फैसले के खिलाफ सुप्रीम कोर्ट में याचिका दाखिल की थी।
सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि याचिकाकर्ताओं को संबंधित उच्च न्यायालय का दरवाजा खटखटाने और कानून के अनुसार, उचित उपाय खोजने की स्वतंत्रता प्रदान है तो पहले वहीं जाएं। इसी के साथ अब बिहार में जातिगत जनगणना कराना जारी रह सकेगा। सुप्रीम कोर्ट की पीठ ने कहा कि हम विशेष जाति को कितना आरक्षण दिया जाना चाहिए, इस बारे में निर्देश कैसे जारी कर सकते हैं। जजों ने कहा कि हम इस तरह के निर्देश जारी नहीं कर सकते हैं और इन याचिकाओं पर विचार नहीं कर सकते हैं।
याचिका में कहा गया था कि जातीय जनगणना का नोटिफिकेशन मूल भावना के खिलाफ है और यह संविधान के मूल ढांचे का उल्लंघन है। याचिका में जातीय जनगणना की अधिसूचना को खारिज करने की मांग की गई थी। बता दें कि बिहार में 7 जनवरी से जाति आधारित सर्वे शुरू हो चुका है। सरकार इस सर्वे पर करीब 500 करोड़ रुपए खर्च करेगी।
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