पाकिस्तान में अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट को लेकर सुरक्षा चिंताएं लंबे समय से बनी हुई हैं। 2009 में श्रीलंका की टीम पर हुए हमले ने इस मुद्दे को और गंभीर बना दिया। उस समय लाहौर में आतंकी संगठन लश्कर-ए-झांगवी ने श्रीलंकाई टीम की बस पर हमला किया था, जिससे कई खिलाड़ी घायल हुए और क्रिकेट जगत में हलचल मच गई। इस दर्दनाक घटना के बाद, पाकिस्तान में क्रिकेट खेलने का जोखिम बढ़ गया और कई टीमों ने वहां जाने से मना कर दिया। जिसकी वजह से पाकिस्तान को अपने घरेलू मैच UAE में आयोजित करने पड़े थे।
भारत ने किया पाकिस्तान यात्रा से इनकार
9वीं बार खेली जाने वाली ICC चैंपियंस ट्रॉफी 2025 में पाकिस्तान में होने वाली है। जिसमें भारत ने एक बार फिर से पाकिस्तान में खेलने से इनकार कर दिया है। भारत की सुरक्षा एजेंसियों ने खिलाड़ियों की सुरक्षा पर चिंता जताई, जिसके चलते भारतीय टीम ने पाकिस्तान में क्रिकेट खेलने से मना कर दिया। सुरक्षा जोखिमों के कारण दोनों देशों के बीच खेल संबंधों में भी तनाव बना रहता है और भारत ने स्पष्ट रूप से कहा है कि खिलाड़ियों की सुरक्षा से कोई समझौता नहीं किया जा सकता।
फरवरी 2019 में ऑस्ट्रेलिया का दौरा रद्द करना
ऑस्ट्रेलिया ने फरवरी 2019 में सुरक्षा कारणों के चलते पाकिस्तान का दौरा रद्द कर दिया था। ऑस्ट्रेलियाई टीम को पाकिस्तान में 5 वनडे मैचों की सीरीज खेलनी थी, लेकिन उनकी सुरक्षा टीम ने दौरे के दौरान खतरे की संभावना जताई। इसी वजह से ऑस्ट्रेलिया ने पाकिस्तान की मेजबानी को अस्वीकार कर दिया और श्रृंखला कहीं और आयोजित करने का निर्णय लिया।
सितंबर 2021 में न्यूजीलैंड का आखिरी मिनट में दौरा रद्द करना
सितंबर 2021 में न्यूजीलैंड क्रिकेट टीम का पाकिस्तान दौरा भी अचानक रद्द कर दिया गया। पहला वनडे मैच शुरू होने से बस कुछ ही मिनट पहले न्यूजीलैंड की सुरक्षा एजेंसियों ने खिलाड़ियों को तुरंत मैदान छोड़ने के निर्देश दिए। न्यूजीलैंड क्रिकेट बोर्ड ने अपने खिलाड़ियों की सुरक्षा को प्राथमिकता देते हुए दौरा खत्म करने का फैसला लिया। इस घटना से पाकिस्तान क्रिकेट बोर्ड के लिए बड़ी चुनौती खड़ी हो गई, क्योंकि यह दौरा पाकिस्तान में अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट बहाल करने का एक महत्वपूर्ण हिस्सा था।
अक्टूबर 2021 में इंग्लैंड ने टी20 दौरा रद्द किया
इंग्लैंड की पुरुष और महिला क्रिकेट टीमों ने अक्टूबर 2021 में पाकिस्तान का दौरा करने से इनकार कर दिया। सुरक्षा कारणों और खिलाड़ियों की मानसिक थकान का हवाला देते हुए इंग्लैंड क्रिकेट बोर्ड ने यह फैसला किया। इस दौरे में इंग्लैंड की T20 सीरीज होनी थी, जो पाकिस्तान क्रिकेट के लिए बेहद अहम थी। इंग्लैंड के इस निर्णय से पाकिस्तान के क्रिकेट प्रेमियों को निराशा हुई, क्योंकि यह उनके लिए एक ऐतिहासिक दौरा साबित हो सकता था।