तेलंगाना की हैदराबाद यूनिवर्सिटी में चल रहा विवाद रविवार को और गहरा गया। यूनिवर्सिटी परिसर के अंदर जैसे ही बुलडोजर को लेकर अधिकारी घुसे और भूमि के एक हिस्से को साफ करने का प्रयास किया, तभी छात्रों ने प्रदर्शन शुरू कर दिया। पुलिस ने छात्रों को रोकने की कोशिश की तो बवाल मच गया। इसके बाद पुलिस ने लगभग 53 विद्यार्थियों को हिरासत में ले लिया। हालांकि मामला शांत होने के बाद सभी प्रदर्शनकारियों को रिहा कर दिया गया। दरअसल मामला एक आईटी पार्क से जुड़ा है। तेलंगाना सरकार इस भूमि पर आईटी पार्क को विकसित करने के अलावा दूसरी परियोजनाओं पर काम कर रही है।
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वहीं, छात्र सरकार के इस प्रयास का विरोध कर रहे हैं। इसकी वजह से पिछले कई दिन से यहां तनाव चल रहा है। दरअसल यह जमीन हैदराबाद विश्वविद्यालय (UOH) के पास कांचा गाचीबोवली में 400 एकड़ क्षेत्र में स्थित है। विश्वविद्यालय के छात्र और आसपास के लोग इस भूमि की नीलामी का विरोध कर रहे हैं। पर्यावरणविद भी पर्यावरणीय चिंताओं का हवाला देते हुए सरकार की योजना पर सवाल उठा चुके हैं। रविवार को जैसे ही छात्रों को साइट पर बुलडोजर दिखा, उन्होंने मौके पर आकर विरोध शुरू कर दिया। गुस्साए छात्र मशीनों के ऊपर चढ़ गए।
छात्रों ने की जमकर नारेबाजी
छात्र सरकार और पुलिस के खिलाफ भी नारेबाजी करने लगे। पुलिस ने एक्शन लेते हुए कई छात्रों को हिरासत में ले लिया। बाद में सभी को छोड़ दिया गया। इस मामले में पुलिस को छात्र संघों की आलोचना का सामना करना पड़ा है। हैदराबाद विश्वविद्यालय छात्र संघ (UOHSU) ने पुलिस की कार्रवाई की निंदा की है। छात्र संघ ने कहा कि विद्यार्थी शांति के साथ अपनी बात रख रहे थे। पुलिस ने उनको जबरदस्ती हिरासत में लिया। उन्होंने शांतिपूर्ण रैली का आयोजन किया था, उनको बुलडोजर चलाए जाने की भनक लग गई थी।
SAVE HCU PROTEST UPDATE: 31st March 7:30am
Midnight action on the HCU campus, nonstop felling of trees and destruction of forest area going on
PIL has been filed in the High Court and the govt had asked time till 7th April to reply. Students say while the matter is still in… pic.twitter.com/caEZsMlSlb
— Revathi (@revathitweets) March 31, 2025
सीएम बोले- यूनिवर्सिटी की जमीन नहीं
यूओएचएसयू के पदाधिकारी पहले भी 13 और 29 मार्च को विरोध प्रदर्शन कर चुके हैं। उन्होंने सरकार से अपील की थी कि वह अपनी योजना को रोक दे। छात्र संघ के बाद बीआरएस नेताओं ने भी पुलिस कार्रवाई पर सवाल उठाते हुए छात्रों को हिरासत में लेने का विरोध किया। हालांकि तेलंगाना के मुख्यमंत्री ए रेवंत रेड्डी विधानसभा में जानकारी दे चुके हैं कि यह जमीन हैदराबाद विश्वविद्यालय की नहीं है। इस भूमि का उपयोग आईटी पार्क बनाने और रोजगार सृजन को बढ़ावा देने के लिए किया जाना है।
क्या बोला विपक्ष?
मामले में पूर्व मुख्यमंत्री के चंद्रशेखर राव की अगुआई वाली भारत राष्ट्र समिति (BRS) ने कहा कि पुलिस ने छात्रों को डंडों से पीटा। उनके बाल खींचे गए, लड़कियां रो रही थीं कि उनके कपड़े फाड़ दिए गए हैं, लेकिन उन्होंने उनकी अनदेखी की। 200 लोगों को गिरफ्तार किया गया था। कांग्रेस और राहुल गांधी पर निशाना साधते हुए उन्होंने कहा कि यह मोहब्बत की दुकान नहीं, बल्कि विश्वासघात का बाजार है।
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