जम्मू-कश्मीर में किश्तवाड़ जिले के मचैल माता यात्रा मार्ग पर चिशौती में बादल फटने से भारी तबाही हुई है। हादसे में 100 से ज्यादा लोग गंभीर रूप से घायल हुए हैं। इस हादसे में अब तक 2 CISF जवान सहित 30 लोगों की मौत होने की पुष्टि की गई है। इसके अलावा 18 से ज्यादा लोग लापता बताए जा रहे हैं। घटना के बाद राहत कार्य बचाव जारी है।
किश्तवाड़ में बादल फटने के बाद मलबे में करीब 10 रिहायशी घर, 4 मंदिर, 4 सरकारी कार्यालय और तीर्थयात्रियों से भरा एक पुल बह गया। घटना के बाद सेना, NDRF और स्थानीय पुलिस के जवानों ने बड़े पैमाने पर बचाव अभियान शुरू किया हुआ है। अब तक 30 लोगों के शवों को बरामद कर पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया गया है। पुलिस अधिकारी ने बताया कि लापता लोगों की तलाश की जा रही है। मृतकों की संख्या बढ़ने की संभावना है। वहीं घायलों का अस्पताल में उपचार चल रहा है।
इन अधिकारियों ने संभाला मोर्चा
जिला उपायुक्त पंकज शर्मा (KAS) और एसएसपी नरेश सिंह (JKPS) व्यक्तिगत रूप से घटनास्थल पर पहुंच गए हैं और बचाव अभियान का नेतृत्व कर रहे हैं। वहीं डोडा-किश्तवाड़-रामबन (DKR) रेंज के DIG श्रीधर पाटिल ने किश्तवाड़ जिले में बादल फटने की घटना पर कहा कि इस हादसे में अब तक 30 लोगों की मौत हो गई है। काफी लोग घायल हुए है। कुछ लोगों को गंभीर हालत में जम्मू-कश्मीर भेजा गया है।
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DIG ने स्थानीय लोगों से की किया अुनरोध
DIG श्रीधर पाटिल ने कहा कि अभी तक हमारा ध्यान राहत बचाव कार्यों पर है। जिससे ज्यादा से ज्यादा लोगों को बचाया जा सके। उन्होंने स्थानीय लोगों से अनुरोध किया है कि वो बिल्कुल भी घबराएं नहीं और पुलिस उनके साथ है। हेल्पलाइन नंबर भी जारी किया गया है। उन्होंने कहा कि राहत बचाव कार्य जारी है। हमारी कोशिश है कि यह हालात जल्द से जल्द बेहतर किए जाएंगे। प्रभावित लोगों के लिए राहत कैंप भी तैयार किए जा रहे हैं।
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पीएम मोदी, राष्ट्रपति और राहुल गांधी ने जताया दुख
इस हादसे पर पीएम मोदी, राष्ट्रपति द्रोपदी मुर्मू और लोकसभा में विपक्ष के नेता राहुल गांधी ने दुख जताया है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने एक्स पर पोस्ट किया, “मेरी संवेदनाएं और प्रार्थनाएं जम्मू-कश्मीर के किश्तवाड़ में बादल फटने और बाढ़ से प्रभावित सभी लोगों के साथ हैं। स्थिति पर कड़ी नज़र रखी जा रही है। बचाव और राहत अभियान जारी है। ज़रूरतमंदों को हर संभव सहायता प्रदान की जाएगी।