Ahmedabad Plane Crash Update: अहमदाबाद प्लेन क्रैश को लेकर बड़ा और नया अपडेट आया है, क्योंकि हादसे में जान गंवाने वाले 60 मृतकों के परिजन अमेरिका की कोर्ट का दरवाजा खटखटाएंगे। पीड़ितों ने दुर्घटनाग्रस्त विमान की निर्माता कंपनी बोइंग कंपनी के खिलाफ याचिका दायर करने का ऐलान किया है। इसके लिए अमेरिका के मशहूर वकील माइक एंड्रयूज को हायर किया गया है। ऐसे में बोइंग कंपनी की मुश्किलें बढ़ सकती हैं, क्योंकि कंपनी पहले से ही जांच के दायरे में है।
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कोर्ट क्यों जाएंगे पीड़ितों के परिजन?
अमेरिका की कोर्ट में याचिका दायर करने का पीड़ितों का मकसद हादसे की स्वतंत्र जांच कराना है। पीड़ितों का कहना है कि हादसे के लिए कहीं न कहीं कंपनी और उनके प्लेन की खामियां जिम्मेदार हैं। इसलिए कंपनी को भी हादसे की जिम्मेदारी लेनी चाहिए। पीड़ितों ने कॉकपिट वॉयस रिकॉर्डर और फ्लाइट रिकॉर्डर के डेटा की मांग करते हुए याचिका दायर करने का ऐलान किया है, क्योंकि वे अपने स्तर पर डेटा की जांच कराकर सच का पता लगाना चाहते हैं।
कौन हैं वकील माइक एंड्रयूज?
बता दें कि माइक एंड्रयूज की बेस्ले एलन लॉ फर्म में कार्यरत हैं और टॉप-10 एविएशन लॉयर्स में उनकी गिनती होती है। वे गंभीर चोट और अननेचुरल डेथे के मामलों के एक्सपर्ट हैं। वे फोर्ड और वोक्सवैगन समेत कई विमान, ट्रक, कार बनाने वाली कंपनियों के खिलाफ केस लड़ चुके हैं। इन्होंने ही साल 2019 में इथोपियन एयरलाइंस क्रैश के पीड़ित परिवारों का केस लड़ा था। उस हादसे में भी बोइंग कंपनी का 737 मैक्स प्लेन क्रैश हुआ था।
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कब हआ था विमान हादसा?
बता दें कि 12 जून 2025 की दोपहर को डेढ़ बजे के करीब एअर इंडिया की फ्लाइट AI171 क्रैश हुई थी। बोइंग 787-8 ड्रीमलाइनर प्लेन ने अहमदाबाद के सरदार वल्लभभाई पटेल इंटरनेशनल एयरपोर्ट से उड़ान भरी थी। फ्लाइट को लंदन के गैटविक एयरपोर्ट पर लैंडिंग करनी थी, लेकिन उड़ान भरने के बाद 32 सेकंड के अंदर प्लेन मेघानी नगर क्षेत्र में बीजे मेडिकल कॉलेज के हॉस्टल की बिल्डिंग पर गिर गया था।
गिरते ही विमान में भयंकर आग लग गई थी और विमान में सवार 242 लोगों में 230 यात्रियों और 12 क्रू मेंबर्स की मौत हो गई थी। एक यात्री सीट 11A पर बैठे विश्वशकुमार रमेश किस्मत से बच गए थे, क्योंकि वे विमान के गिरने पर दरवाजा टूटने से कूद गए थे। हादसे में जमीन पर खड़े 19 लोगों ने भी जान गंवाई थी। गुजरात के पूर्व मुख्यमंत्री विजय रुपाणी भी हादसे में मारे गए थे। कुल 67 लोग गंभीर रूप से घायल भी हुए थे।
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क्या था हादसे का कारण?
विमान हादसे की जांच भारत के विमान दुर्घटना जांच ब्यूरो (AAIB) ने किया, जिसने गत 8 जुलाई 2025 की हादसे की प्रारंभिक जांच रिपोर्ट जारी की थी। रिपोर्ट में खुलासा किया गया था कि फ्लाइट के टेकऑफ होने के बाद 3 सेकंड के अंदर प्लेन के दोनों इंजनों के फ्यूल कंट्रोल स्विच रन से कट ऑफ मोड में चले गए थे, जिससे दोनों इंजनों को ईंधन की सप्लाई नहीं मिली और प्लेन नीचे की ओर गिरने लगा। पायलट कंट्रोल नहीं कर पाए और प्लेन क्रैश हो गया।
AAIB, बोइंग कंपनी और US नेशनल ट्रांसपोर्टेशन सेफ्टी बोर्ड (NTSB) जांच में AAIB को सहयोग कर रहे हैं। प्लेन के दोनों ब्लैक बॉक्स (फ्लाइट डेटा रिकॉर्डर और कॉकपिट वॉयस रिकॉर्डर) बरामद किए गए हैं।