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No Smoking Day 2025: क्या है सेकेंड हैंड स्मोकिंग, युवाओं को कैसे लग जाती है इसकी लत

सिगरेट पीना हमारी सेहत के लिए हानिकारक होता है। लेकिन इसकी शुरुआत कैसे होती है? युवाओं में सिगरेट पीने की आदत कहीं अपने साथ रहने वाले लोगों की वजह से तो नहीं बढ़ रही है? आइए जानते हैं।

Author Edited By : Namrata Mohanty Updated: Mar 11, 2025 12:02
No Smoking Day 2025
No Smoking Day 2025

No Smoking Day 2025: सिगरेट पीने से कैंसर होता है, यह बात सभी लोग जानते हैं। स्मोकिंग हानिकारक होती है, इस बारे में आए दिन सरकार और कई स्वास्थ्य संस्थान आयोजन करते हैं, ताकि सिगरेट से दूरी बनाई जा सके। सिगरेट के पैकेट पर भी इससे कैंसर होने की चेतावनी दी जाती है, लेकिन लोग फिर भी इसे पीते हैं। सिगरेट की लत का कारण निकोटिन होता है, लेकिन क्या इसके अलावा और भी चीजें हैं, जो किसी की जिंदगी में सिगरेट को बढ़ावा देती हैं? चलिए इस बात को समझने की कोशिश करते हैं कि कैसे सिगरेट पीना भी एक सामाजिक दबाव की तरह बन गया है।

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सिगरेट और सोशल प्रेशर का क्या संबंध?

नेशनल लाइब्रेरी ऑफ मेडिसिन की एक रिपोर्ट बताती है कि ईस्ट अफ्रीका की राजधानी इथियोपिया में यूनिवर्सिटी और हाई स्कूल के छात्रों में स्मोकिंग की लत लगने के पीछे सामाजिक दबाव ही है। यह साफ-साफ उदाहरण पेश कर रहा है कि संगत का असर कितना प्रभावशाली होता है कि एक से दूसरे साथी को सेकेंड हैंड स्मोकिंग के माध्यम से ही सिगरेट की लत लग गई।

सेकेंड हैंड स्मोकिंग क्या होती है?

इस प्रकार की स्मोकिंग में सिगरेट एक व्यक्ति पीता है और दूसरा व्यक्ति उसके धुएं से संपर्क में आकर धूम्रपान करता है। इसे अनैच्छिक या निष्क्रिय स्मोकिंग कहते हैं। इसके धुएं की गंध लोगों को इसकी ओर आकर्षित कर उसका आदि बना देती है, जिससे उन्हें भी सिगरेट पीने की लत लग जाती है।

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डेटा में निकले तथ्य

इथियोपिया में हाई स्कूल और विश्वविद्यालय के छात्रों द्वारा सिगरेट पीने का एक डाटा निकाला गया था, जिसमें कुछ जोखिमों का आकलन भी किया गया था। स्टडीज में सिगरेट पीने की लत का युवाओं पर असर इसलिए होता है क्योंकि वे उम्र के उस पड़ाव पर होते हैं, जहां उनमें स्ट्रेस बढ़ने वाली चीजें अचानक आती हैं। यह स्ट्रेस पढ़ाई का, रिजल्ट का, दूसरे से अच्छा दिखने का या फिर रिलेशनशिप के चलते भी बढ़ जाता है। इन बच्चों को स्मोकिंग के बारे में जागरूक करने को लेकर न ही स्कूल और न ही माता-पिता कोई ठोस कदम उठाते हैं। कई छात्र ऐसे होते हैं, जो सिर्फ दिखावे के कारण खुद की छवि को बनाने के लिए दोस्तों के साथ स्मोकिंग और शराब पीने जैसी आदतों में लग जाते हैं। ऐसा लड़कों के साथ ज्यादा होता है। कई बार घर में माता-पिता या बड़े लोगों को ये सब करता देख भी बच्चे स्मोकिंग करना शुरू कर देते हैं।

सिगरेट के आदी क्यों हो जाते हैं बच्चे?

अमेरिकन कैंसर सोसायटी की एक रिपोर्ट बताती हैं कि सिगरेट पीने की आदत लोगों या युवाओं को इसलिए हो जाती है क्योंकि इनमें निकोटिन होता है। निकोटिन एक एडिक्टिव सब्स्टांस माना जाता है। निकोटिन की आदत ब्रेन को भी हो जाती है। जैसे ही कोई सिगरेट पीता है, तो दिमाग अलर्ट हो जाता है और उसे अच्छा महसूस होता है।

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Disclaimer: ऊपर दी गई जानकारी पर अमल करने से पहले विशेषज्ञों से राय अवश्य लें। News24 की ओर से जानकारी का दावा नहीं किया जा रहा है।

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Edited By

Namrata Mohanty

First published on: Mar 11, 2025 12:02 PM

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