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Hathras Stampede : बाबा के ‘चरणों की मिट्टी’ ने मचा दिया मौत का तांडव! चली गईं 134 जानें

Hathras Stampede News: उत्तर प्रदेश के हाथरस में सत्संग के दौरान मची भगदड़ में अब तक 130 से ज्यादा लोगों की मौत हो चुकी है। कई दर्जन लोग घायल हुए हैं जिनका अस्पताल में उपचार चल रहा है। भगदड़ में मरने वाले मृतकों में महिला और बच्चों की संख्या सबसे अधिक बताई जा रही है। घटना के बाद से चारों तरफ चीख पुकार मच गई। लोगों में भारी आक्रोश है। पुलिस और जिला प्रशासन राहत और बचाव कार्य में जुटा है।

Edited By : Gaurav Pandey | Updated: Jul 2, 2024 22:10
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Hathras Stampede: The spot where incident took place
Hathras Stampede: The spot where incident took place

Hathras Stampede News : उत्तर प्रदेश के हाथरस जिले में मंगलवार को एक धार्मिक कार्यक्रम में मौत का तांडव मच गया। यहां एक सत्संग के दौरान भगदड़ मच गई जिसमें कम से कम 134 लोगों की मौत हो गई है। मृतकों का आंकड़ा अभी और बढ़ने की आशंका जताई जा रही है। बता दें कि जान गंवाने वालों में सबसे ज्यादा संख्या महिलाओं और बच्चों की है। जानकारी के अनुसार इस हादसे में कई महिलाओं और बच्चों की मौत हुई है। इस बीच सवाल यह उठ रहा है कि भगवान को समर्पित इस कार्यक्रम में भगदड़ कैसे मच गई? इस रिपोर्ट में जानिए इसी सवाल का जवाब।

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क्यों मची भगदड़?

रिपोर्ट्स के अनुसार हाथरस जिले के सिकंदराराऊ कस्बे के पास एटा रोड पर स्थित फुलरई गांव में सत्संग चल रहा था। इसी दौरान यह हादसा हुआ। बताया जा रहा है कि सत्संग में कथावाचक भोले बाबा का काफिला निकल रहा था। सत्संग में आए श्रद्धालु भी अपने घर की ओर जा रहे थे। स्थानीय लोगों के मुताबिक बाबा के जाने के बाद लोग सम्मान के प्रतीक के तौर पर माथे पर वहां की ‘मिट्टी’ लगाते हैं, जहां से बाबा का वाहन गुजरता है। यही करने के लिए लोग दौड़े थे। इसी दौरान भगदड़ मच गई, जिसमें बड़ी संख्या में लोगों की जान चली गई और दर्जनों लोग घायल हो गए।

यह सत्संग नारायण साकार विश्व हरि भोले बाबा का था जिनका असली नाम सूरज पाल है। घटना के बाद से ही बाबा लापता चल रहे हैं। बताया जाता है कि वह इंटेलिजेंस ब्यूरो का पूर्व अधिकारी है। करीब 17 साल पहले नौकरी छोड़कर उन्होंने अलग राह अपना ली थी। उनकी सुरक्षा की व्यवस्था भी बेहद सख्त रहती है। बाबा के सत्संग में पानी को प्रसाद के रूप में बांटा जाता है। बताते हैं कि उनके आयोजन इतने विशाल स्तर के होते हैं कि कार्यक्रम की तैयारी 15 दिन पहले शुरू कर दी जाती है। लाखों की संख्या में भोले बाबा के कार्यक्रमों में भक्तों की भीड़ जुटा करती है।

 

एक्शन में प्रशासन

हादसे के बाद प्रदेश सरकार एक्टिव हुई। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने मंत्रियों और अधिकारियों को मौके पर पहुंचने के निर्देश जारी किए हैं। इसके अलावा हादसे में जान गंवाने वाले लोगों के परिजनों के 2-2 लाख और घायलों को 50-50 हजार रुपये की आर्थिक सहायदा देने का निर्देश भी दिया गया है। प्रशासन इस मामले में सख्त कार्रवाई करने की तैयारी में है। आयोजकों के खिलाफ एफआईआर होगी। मुख्यमंत्री कार्यालय ने पूरी घटना की रिपोर्ट मांगी है। साथ ही सीएमओ हाथरस ने पोस्टमार्ट हाउस में तत्काल प्रभाव से चिकित्सा प्रभारी से लेकर फार्मासिस्ट की ड्यूटी लगा दी है।

हाथरस दुर्घटना की स्थिति की मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ सीधी मॉनीटरिंग कर रहे हैं। ADG आगरा और कमिश्नर अलीगढ़ के नेतृत्व में टीम गठित कर दुर्घटना के कारणों की जांच के निर्देश दिए गए हैं। मुख्यमंत्री ने अगले 24 घंटों में रिपोर्ट मांगी है। सीएम के निर्देश पर मंत्री लक्ष्मी नारायण चौधरी और संदीप सिंह घटना स्थल के लिए रवाना हुए हैं। युद्ध स्तर पर राहत और बचाव कार्य किया जा रहा है। घटना को लेकर सवाल उठ रहा है कि जब इतनी भीड़ जुटी थी तो वहां के जिलाधिकारी और पुलिस अधीक्षक ने आयोजन समिति के साथ मिलकर सुरक्षा के क्या-क्या इंतजाम किए थे।

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Written By

Gaurav Pandey

First published on: Jul 02, 2024 06:18 PM

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