बॉलीवुड एक्टर अक्षय कुमार की फिल्म ‘केसरी चैप्टर 2’ 18 अप्रैल को सिनेमाघरों में रिलीज हुई। इस पीरियड ड्रामा फिल्म के लिए फैंस काफी एक्साइटेड थे लेकिन पहले पार्ट ‘केसरी’ की तरह ये फिल्म अब तक बॉक्स ऑफिस पर उम्मीदों के मुताबिक परफॉर्म नहीं कर पाई है। फिल्म ने 6 दिनों में 40 करोड़ का आंकड़ा पार किया है जो अक्षय की दूसरी फिल्मों के मुकाबले एक एवरेज नंबर नजर आता है। ऐसे में किन कारणों की वजह से फिल्म दर्शकों की कसौटी पर खरी नहीं उतर पाई है, चलिए आपको बताते हैं।
कोर्टरूम ड्रामा ने किया बोर
फिल्म में जलियांवाला बाग हत्याकांड के बाद की सच्चाई को दिखाने की कोशिश की गई थी। हालांकि, इस हिस्से में फिल्म ने दर्शकों को बोर कर दिया। कोर्टरूम ड्रामा का असर ज्यादा नहीं हुआ और न ही दर्शक खुद को इससे जोड़ पाए। इससे फिल्म में वो वॉव फैक्टर नहीं मिल पाया जो पहले पार्ट में था, जहां पूरी कहानी में एक्साइटमेंट और रहस्य बना हुआ था।
दर्शक नहीं हो पाए एंटरटेन
अक्षय कुमार के फैंस हमेशा उनके दमदार अभिनय और अंदाज के दीवाने रहते हैं। लेकिन इस फिल्म में वो दर्शकों को पूरी तरह से एंटरटेन नहीं कर पाए। फिल्म की लम्बी और उबाऊ कहानी ने दर्शकों को बोर किया। जब तक अक्षय अपने दर्शकों को एंटरटेन करते, तब तक फिल्म में कुछ खास नहीं था जो उन्हें जोड़े रख सके।
अक्षय कुमार के दमदार डायलॉग्स की कमी
अक्षय कुमार की फिल्मों में एक खास बात होती है उनके डायलॉग्स, जो दर्शकों को गहरी छाप छोड़ते हैं। ‘केसरी’ फिल्म में उनकी ऐतिहासिक भूमिका ने उन्हें काफी तारीफ दिलाई, लेकिन ‘केसरी 2’ में वही दमदार डायलॉग्स की कमी थी। फिल्म में बेशक कुछ मजबूत डायलॉग्स जरूर थे, लेकिन वो दर्शकों को उतना इंप्रेस नहीं कर पाए, जिसकी शायद मेकर्स को उम्मीद थी।
फिल्म में इमोशनल टच का आभाव
‘केसरी’ में दर्शकों को इमोशनल जुड़ाव महसूस हुआ था, क्योंकि फिल्म की कहानी वीरता और संघर्ष की थी। हालांकि ‘केसरी 2’ में वो इमोशनल टच गायब था। फिल्म में अक्षय का संघर्ष और शौर्य तो था, लेकिन इमोशनल पहलू की कमी ने फिल्म को दर्शकों के दिलों में वो जगह नहीं दी, जिसे एक बेहतरीन फिल्म से मिलता है।
कमजोर और उलझी हुई एंडिंग
कहानी की एंडिंग भी फिल्म की एक बड़ी कमजोरी साबित हुई। फिल्म का क्लाइमेक्स दर्शकों को ज्यादा इंप्रेस नहीं कर पाया। इसके उलट, पहले पार्ट का अंत इतना प्रभावशाली था कि दर्शक उसके बाद के हिस्से का इंतजार करते रहे थे। लेकिन इस बार फिल्म की एंडिंग कुछ कमजोर और उलझी हुई थी, जिससे दर्शकों का एक्सपीरियंस आधा और अधूरा सा रह गया।
यानी ‘केसरी 2’ पहले पार्ट के जादू को दोहराते हुए तो नजर नहीं आती है। कहानी की बुनियाद और डायलॉग्स में वो बात नहीं थी जो फिल्म ‘केसरी’ में थी। अगर फिल्म के ये पांच अहम पहलू मजबूत होते, तो शायद फिल्म बॉक्स ऑफिस पर बेहतर परफॉर्म कर पाती।
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