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EPFO Rules: यदि आपका पैसा कंपनी ने EPF खाते में जमा नहीं किया तो कैसे मिलेगी ब्याज? यहां जानें नया नियम

EPFO Rules: कर्मचारी भविष्य निधि संगठन (EPFO) भारत में नियोजित व्यक्तियों के पीएफ खाते में किए गए योगदान के प्रबंधन के लिए जिम्मेदार है। इस खाते में कर्मचारी और नियोक्ता दोनों योगदान करते हैं, नियोक्ता का योगदान अनिवार्य है। ईपीएफओ सिर्फ उन्हीं खातों में ब्याज ट्रांसफर करता है, जिनमें समय पर ईपीएफ योगदान किया गया […]

Author Edited By : Nitin Arora Updated: Feb 18, 2023 22:02
EPFO

EPFO Rules: कर्मचारी भविष्य निधि संगठन (EPFO) भारत में नियोजित व्यक्तियों के पीएफ खाते में किए गए योगदान के प्रबंधन के लिए जिम्मेदार है। इस खाते में कर्मचारी और नियोक्ता दोनों योगदान करते हैं, नियोक्ता का योगदान अनिवार्य है। ईपीएफओ सिर्फ उन्हीं खातों में ब्याज ट्रांसफर करता है, जिनमें समय पर ईपीएफ योगदान किया गया हो। फरवरी 2022 में, भारत के सर्वोच्च न्यायालय ने एक आदेश जारी किया जिसमें कहा गया था कि यदि कोई कंपनी किसी कर्मचारी के पीएफ खाते में समय पर धन हस्तांतरित करने में विफल रहती है, जिसके परिणामस्वरूप कर्मचारी को ब्याज का नुकसान होता है, तो कंपनी को उसकी भरपाई करनी होगी।

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गलती के लिए कंपनी जिम्मेदार!

कर्मचारी भविष्य निधि अधिनियम की धारा 14बी और 7क्यू के अनुसार, एक कंपनी को अपने ईपीएफओ खाते में देरी से योगदान के कारण कर्मचारी को हुए नुकसान की भरपाई करनी होगी। मुआवजे की राशि इस बात पर निर्भर करेगी कि योगदान कितनी देर से किया गया और यह योगदान के 100 प्रतिशत तक हो सकता है।

कंपनी को यह जुर्माना कर्मचारी के खाते में एरियर के रूप में जमा करना होगा और बकाया राशि पर 12 प्रतिशत की दर से ब्याज देना होगा।

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जुर्माना राशि इस प्रकार भिन्न होती है: 2 महीने तक की देरी के लिए 5 प्रतिशत, 2-4 महीने की देरी के लिए 10 प्रतिशत, 4-6 महीने की देरी के लिए 15 प्रतिशत और 6 महीने से अधिक की देरी के लिए 25 प्रतिशत।

कैसे होता कर्मचारी का पैसा जमा?

कर्मचारी के वेतन का एक हिस्सा, उनके मूल वेतन के 12 प्रतिशत के बराबर, पीएफ खाते में जमा किया जाता है, और नियोक्ता भी कर्मचारी जितना योगदान खाता में डालता है। नियोक्ता के अंशदान में से 8.33 प्रतिशत कर्मचारी पेंशन योजना में जमा होता है, जबकि शेष 3.67 प्रतिशत ईपीएफओ खाते में जमा होता है।

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पीएफ खाते में जमा पैसे को मेडिकल इमरजेंसी, बच्चे की शादी या घर के निर्माण जैसी आपात स्थिति में निकाला जा सकता है। कुल जमा राशि को सेवानिवृत्ति के बाद एकमुश्त राशि के रूप में निकाला जा सकता है।

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Nitin Arora

First published on: Feb 18, 2023 04:09 PM
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