अमेरिका के मिनियापोलिस शहर से एक बड़ी खबर सामने आ रही है। यहां मिनेसोटा में एनुंसिएशन कैथोलिक चर्च के ठीक बगल में एक स्कूल हैं। बुधवार सुबह नकाबपोश एक बदमाश स्कूल में घुसा और ताबड़तोड़ फायरिंग शुरू कर दी। इस हमले में अभी तक 3 लोगों के मारे जाने की सूचना है। वहीं 20 से ज्यादा लोगों के घायल हुए हैं। बताया जा रहा है कि घायलों में कई स्कूली छात्र हैं।
मिनेसोटा में एनुंसिएशन कैथोलिक चर्च के ठीक बगल में एक स्कूल हैं। बुधवार सुबह स्कूल के अंदर एक नकाबपोश घुस गया। इससे पहले लोग कुछ समझपाते नकाबपोश ने फायरिंग शुरू कर दी। जिसके बाद स्कूल में अफरा-तफरी मच गई। स्कूल टीचर, छात्र और अन्य स्टाफ अपने को बचाने के लिए इधर-उधर भागने लगे। स्कूल स्टाफ ने इसकी सूचना पुलिस को दी।
पुलिस ने इलाके को किया सील
बताया जा रहा है कि नकाबपोश की फायरिंग में अब तक 20 से ज्यादा लोग घायल हो चुके हैं। इस घटना के बाद अभिभावक भी स्कूल के बाहर जमा हो गए। पुलिस ने पूरे इलाके को सील कर दिया। मौके पर स्थानीय पुलिस और EMS टीम मौजूद है। FBI के भी कइ अधिकारी मौके पर पहुंचे। करीब डेढ़ घंटे बाद पुलिस को पता चला कि फायरिंग करने वाले शख्स ने खुद को गोली मारकर आत्महत्या कर ली। जिसके बाद आरोपी के शव को कब्जे में लिया गया।
आरोपी ने खुद को गोली से उड़ाया
स्थानीय मीडिया रिपोर्ट के मुताबिक, कैथोलिक चर्च स्कूल में हुई गोलीबारी के संदिग्ध की पहचान 23 वर्षीय रॉबिन वेस्टमैन के रूप में हुई है। आरोपी ने फायरिंग के बाद खुद को गोली से उड़ा लिया था। आरोपी वेस्टमैन मिनेसोटा के रिचफील्ड में रहता था और उसकी मां उसी स्कूल में काम करती थी। रिपोर्ट के अनुसार, वेस्टमैन ने 2020 में 17 साल की उम्र में अपना नाम रॉबर्ट से रॉबिन में बदलने के लिए आवेदन किया था। मिनियापोलिस के पुलिस प्रमुख ब्रायन ओ’हारा ने बुधवार को एक प्रेस कॉन्फ्रेंस के दौरान कहा कि संदिग्ध ने खुद को गोली मारकर आत्महत्या कर ली।
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राष्ट्रपति ट्रंप ने जताया दुख
सीएनएन की एक रिपोर्ट के अनुसार, राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप को मिनियापोलिस के कैथोलिक स्कूल में हुई गोलीबारी की जानकारी दे दी गई है। उन्होंने कहा कि व्हाइट हाउस स्थिति पर नजर रखे हुए है। ट्रंप ने ट्रुथ सोशल पर एक पोस्ट में लिखा कि ‘FBI तुरंत मौके पर पहुंच गई है और कार्रवाई कर रही है, मैं इस घटना में शामिल सभी लोगों के लिए प्रार्थना कर रहा हूं।’
हर साल हो रही इस तरह की वारदातें
अमेरिका में स्कूलों और सार्वजनिक स्थानों पर इस तरह की गोलीबारी कोई नई बात नहीं है। गन वायलेंस आर्काइव के आंकड़ों के अनुसार, देश में हर साल सैकड़ों बार इसी तरह की वारदात होती है। चर्च और स्कूल जैसे धार्मिक और शैक्षणिक संस्थानों को भी कई बार निशाना बनाया गया है। इस घटना से फिर सवाल उठता है कि अमेरिका में बंदूक नियंत्रण कानूनों को और सख्त बनाने की जरूरत को क्यों टाला जा रहा है।
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