Mahakumbh 2025: प्रयागराज (Prayagraj) में महाकुंभ (Mahakumbh) का समापन हो चुका है, जिसका आगाज 14 जनवरी को हुआ था। हिंदू श्रद्धालुओं के लिए ये एक महापर्व से कम नहीं था। इस दौरान करोड़ों भक्तों ने गंगा में पवित्र स्नान किया। लेकिन क्या आप जानते हैं कि इस भव्य महाकुंभ की तैयारी के लिए 3 साल का समय लगा और पैसा भी पानी की तरह बहाया गया। रेलवे ने भी अहम योगदान दिया और 17,000 ट्रेनें चला सरकार की मदद की। आइए इस बारे में विस्तार से जानते हैं।
कितने करोड़ का आया खर्च
महाकुंभ में पवित्र स्नान के लिए देश-विदेश से श्रद्धालु आए और उन्होंने पवित्र स्नान किया। उत्तर प्रदेश सरकार ने प्रयागराज में महाकुंभ के दौरान काफी तैयारियां की जिसमें पूरे 3 साल का समय लगा और करीब 5 हजार करोड़ रुपये का खर्च आया। ये एक बहुत बड़ी राशि थी जिसे खर्च कर महाकुंभ में भव्य तैयारियां की गई ताकी श्रद्धालुओं को कोई परेशानी न हो।
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करोड़ों श्रद्धालुओं ने किया स्नान
टाइम्स ऑफ इंडिया में छपी रिपोर्ट के अनुसार, महाकुंभ में स्नान के लिए करोड़ों भक्त गए। महाकुंभ की पूरी अवधि में करीब 5 करोड़ या उससे भी कुछ अधिक श्रद्धालु आए। इस दौरान लोगों ने पवित्र स्नान किया और सनातन धर्म के महत्व को भी समझा।
रेलवे ने दिया अहम योगदान
न सिर्फ यूपी सरकार ने बल्कि रेलवे ने भी महाकुंभ में अपना अहम योगदान दिया। रेल मंत्री अश्विनी वैष्णव ने बताया कि महाकुंभ के दौरान रेलवे ने करीब 17,000 ट्रेनें चलाईं जो उनके लिए किसी पर्व से कम नहीं था। रेलवे अधिकारियों ने कहा कि ऐतिहासिक महाकुंभ के दौरान प्राप्त अनुभव भविष्य के आयोजनों के प्रबंधन में बहुत मददगार साबित होंगे।
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