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Joshimath Sinking: केंद्र-राज्य सरकार की सभी एजेंसियों ने जोशीमठ में शुरू किया रिसर्च, अब सामने आएगा बड़ा कारण

Joshimath Sinking: उत्तराखंड (Uttarakhand) के जोशीमठ (Joshimath) में आई आपदा का कारण जानने और गहन निगरानी के लिए केंद्र व राज्य सरकार की सभी एजेंसियों ने अपनी-अपनी कार्यवाही शुरू कर दी है। इसी के साथ सीबीआरआई की ओर से भी इमारतों और घरों में क्रैक मीटर भी लगाए गए हैं। जोशीमठ में आई समस्या का […]

Edited By : Naresh Chaudhary | Updated: Jan 18, 2023 11:12
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Joshimath Sinking

Joshimath Sinking: उत्तराखंड (Uttarakhand) के जोशीमठ (Joshimath) में आई आपदा का कारण जानने और गहन निगरानी के लिए केंद्र व राज्य सरकार की सभी एजेंसियों ने अपनी-अपनी कार्यवाही शुरू कर दी है। इसी के साथ सीबीआरआई की ओर से भी इमारतों और घरों में क्रैक मीटर भी लगाए गए हैं। जोशीमठ में आई समस्या का अध्ययन करने के लिए युद्धस्तर पर काम शुरू हो गया है।

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400 से ज्यादा घरों का आकलन

सचिव आपदा प्रबंधन रंजीत सिन्हा ने बताया कि भवनों को हुए नुकसान का आकलन करने के लिए भारत सरकार के स्तर पर सीबीआरआई की ओर से क्रैक मीटर लगाए गए हैं। उन्होंने बताया कि अब तक करीब 400 घरों में नुकसान का आकलन किया जा चुका है। बाकी बचे सभी घरों और इमारतों में टीमों द्ववारा आकलन जारी है।

ये संस्थान लगे हैं आपदा का कारण जानने

उन्होंने बताया कि वाडिया संस्थान की ओर से जोशीमठ में 3 भूकंपीय स्टेशन स्थापित किए गए हैं, जिनसे डेटा प्राप्त किया जा रहा है। एनजीआईआर की ओर से एक हाइड्रोलॉजिकल सर्वेक्षण किया जा रहा है। इनके अलावा सीबीआरआई, आईआईटी रुड़की, जीएसआई और IIRS जोशीमठ में बड़े स्तर पर काम कर रहे हैं।

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अस्थायी तौर पर सरकार ने की ये व्यवस्था

सिन्हा ने बताया कि अस्थायी रूप से चिह्नित राहत शिविरों के तहत जोशीमठ में 2190 लोगों की क्षमता वाले कुल 615 कमरे और पीपलकोटी में 2205 लोगों की क्षमता वाले 491 कमरे हैं। अधिकारी ने बताया कि रविवार को प्रधानमंत्री कार्यालय की एक टीम ने उत्तराखंड के चमोली में जोशीमठ के आपदा प्रभावित इलाकों का दौरा कर स्थिति का जायजा लिया।

जोशीमठ मिशन के लिए सेना तैयार

इसके अलावा उत्तराखंड में चीन सीमा के पास ऊंचाई वाले पहाड़ों में तैनात भारतीय सेना के जवान भी जोशीमठ में राहत और बचाव कार्यों के लिए तैयार हैं। सैनिकों ने सभी अभियानों या मिशनों को सफलतापूर्वक अंजाम देने का भरोसा जताते हुए कहा है कि वे हर अभियान के लिए तैयार हैं। बता दें कि एक दिन पहले ही सेना के जवानों ने हेलिकॉप्टर के साथ अभ्यास किया था।

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HISTORY

Written By

Naresh Chaudhary

Edited By

Manish Shukla

First published on: Jan 17, 2023 02:28 PM
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