28 मार्च को माहे रमजान का आखिरी जुमा है। जुमे की नमाज को लेकर सियासत गरमा गई है और जमकर राजनीति हो रही है। कई नेताओं का कहना है कि सड़क पर नमाज पढ़ने वालों पर कार्रवाई होनी चाहिए। इस पर समाजवादी पार्टी की सांसद इकरा हसन ने अपनी प्रतिक्रिया दी है।
इकरा हसन ने जुमे की नमाज को लेकर चल रहे विवाद पर कहा कि 2014 से यह सरकार सिर्फ नफरत फैला रही है। पूरा देश ‘सौगात-ए-मोदी’ की बात कर रहा है, मुसलमानों के लिए सबसे बड़ी सौगात यही होगी कि उन्हें उनका हक दिया जाए। उन्होंने कहा कि हमारे बुजुर्गों का खून इस देश की मिट्टी में समाया हुआ है, हम कहीं नहीं जाने वाले। आज उनकी तानाशाही चल रही है, लेकिन यह हमेशा नहीं चलेगी।
क्या बोली सपा सांसद इकरा हसन?
सपा सांसद ने News24 से बातचीत में कहा कि जब से हमने आंखें खोली हैं, तब से अलविदा की नमाज में ऐसे पुलिस इंतजाम नहीं देखे। यूपी सरकार हीन भावना से ग्रसित होकर मुसलमानों के खिलाफ काम कर रही है। सड़क पर नमाज नहीं पढ़ी जा सकती, लेकिन सड़क पर कांवड़ यात्रा निकल सकती है।
“मेरी छत पर मैं क्या करूं..किसी और को ये बताने का अधिकार नहीं है”
---विज्ञापन---◆ सपा सांसद इकरा हसन ने कहा@kumarrgaurrav | #IqraHasan | #Meerut pic.twitter.com/OLQeMzpjf9
— News24 (@news24tvchannel) March 28, 2025
सारे हक छीनकर पकड़ाया जा रहा पैकेट
उन्होंने कहा कि मुझे लगता है कि इस मामले को सुप्रीम कोर्ट द्वारा संज्ञान में लिया जाना चाहिए। BJP को काम नहीं करना, सिर्फ हिंदू-मुसलमान करना है। इकरा हसन ने कहा कि सारे हक छीनकर आपको एक पैकेट (सौगात-ए-मोदी किट) पकड़ाया जा रहा है, यह दोहरी नीति का नमूना है।
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बता दें कि उत्तर प्रदेश में अलविदा जुमे की नमाज के मद्देनजर सख्त सुरक्षा व्यवस्था की गई है। संभल, मेरठ और लखनऊ में भी कड़ी सुरक्षा व्यवस्था लागू की गई है। प्रशासन ने स्पष्ट किया है कि सड़कों, छतों और खुली जगहों पर नमाज की अनुमति नहीं होगी। प्रशासन के सख्त रवैये पर कई लोगों ने सवाल उठाए हैं।