पहलगाम में हुए हालिया आतंकी हमले के बाद भारतीय सेना द्वारा शुरू किए गए जवाबी अभियान “ऑपरेशन सिंदूर” ने न सिर्फ सैन्य मोर्चे पर हलचल मचाई है, बल्कि अब यह नाम मुंबई के कॉर्पोरेट और एंटरटेनमेंट इंडस्ट्री में भी सुर्खियों में आ गया है। कॉमर्स और इंडस्ट्री मंत्रालय की वेबसाइट पर दर्ज जानकारी के अनुसार, “ऑपरेशन सिंदूर” नाम के ट्रेडमार्क के लिए एक रेस सी शुरू हो गई है। अब तक सिंदूर से जुड़े टाइटल्स के लिए फिल्म इंडस्ट्री में 30 से ज्यादा आवेदन आ चुके हैं।
देश के एक बड़े औद्योगिक समूह के साथ-साथ मुकेश चेतराम अग्रवाल, वायुसेना के रिटायर्ड ग्रुप कैप्टन कमला सिंह ओबेरॉय, दिल्ली के वकील आलोक कोठारी, जयराज टी और उत्तम जैसे कई नामों ने इस ट्रेडमार्क को पाने के लिए आवेदन किया है।बढ़ते विवाद के बाद देश के बड़े उद्योग समूह ने इस नाम के लिए अपना आवेदन पीछे ले लिया है
फिल्म इंडस्ट्री भी पीछे नहीं
भारतीय फिल्म उद्योग में भी इस नाम को लेकर जबरदस्त दिलचस्पी देखी जा रही है। इंडियन मोशन पिक्चर प्रोड्यूसर्स एसोसिएशन (IMPPA), इंडियन फिल्म एंड टेलीविजन प्रोड्यूसर काउंसिल (IFTPC) और वेस्टर्न इंडिया फिल्म प्रोड्यूसर एसोसिएशन (WIFPA) के पास “सिंदूर” से जुड़े टाइटल्स के लिए 30 से अधिक आवेदन आ चुके हैं। इनमें “ऑपरेशन सिंदूर”, “मिशन सिंदूर”, “सिंदूर: द रिवेंज”, “हिंदुस्तान का सिंदूर”, और “पहलगाम: द टेरर अटैक” जैसे नाम प्रमुख हैं। देशभक्ति और भारत-पाकिस्तान संघर्ष पर आधारित कंटेंट की लोकप्रियता को देखते हुए फिल्म निर्माता इस विषय को भुनाने में कोई कसर नहीं छोड़ना चाहते।
एक नाम कई दावेदार
बता दें कि “ऑपरेशन सिंदूर” अब सिर्फ एक सैन्य ऑपरेशन का नाम नहीं रहा। यह एक ब्रांड, एक कहानी और एक बिजनेस अपॉर्च्युनिटी में तब्दील हो चुका है। आने वाले समय में यह देखना दिलचस्प होगा, कि यह नाम किसके पास जाता है। किसी बिजनेस हाउस के पास या किसी फिल्म निर्माता के पास जो इसे सिल्वर स्क्रीन पर उतारने की तैयारी में है।