विपिन श्रीवास्तव, भोपाल: राहुल गांधी की भारत जोड़ो यात्रा की मध्यप्रदेश में एंट्री के साथ ही कमलनाथ के बेहद करीबी पूर्व मीडिया कार्डिनेटर नरेंद्र सलूजा की बीजेपी में एंट्री हुई है। सीएम हाउस में मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने नरेंद्र सलूजा को बीजेपी की सदस्यता दिलाई। नरेंद्र सलूजा को कमलनाथ के मीडिया कॉर्डिनेटर पद से हाल ही में पद से हटाया गया था। हटाने की वजह 8 नवंबर को इंदौर के खालसा कॉलेज में गुरु नानक जयंती के अवसर पर कमलनाथ के जाने से हुए विवाद से जोड़ी गई।
कमलनाथ पर हमलावर
बीजेपी का दामन थामने की वजह बताते हुए नरेंद्र सलूजा कई सालों से जुड़े कमलनाथ पर हमलावर हो गए। बीजेपी का आभार जताते हुए कहा कि मुझे कमलनाथ ने पांच साल पहले 2018 में बतौर मीडिया कार्डिनेटर पद दिया था, जबसे मैं उनके साथ जुड़ा हूं, मुझे कई लोगों ने कहा 84 के दंगों में उनका नाम है और मैं इग्नोर करता रहा। इंदौर के खालसा कॉलेज में गुरु नानक जयंती के प्रकाश पर्व के दौरान कीर्तनकार मंजीत सिंह कानपुरी ने जो शब्द कहे वो मेरे कान में गूंजते रहे थे।
उन्होंने आगे कहा- उसने मेरी आत्मा को झंझोड़ दिया, मैं उस दिन के बाद कमलनाथ से ना मिला और ना काम किया।सबसे पहला मैं धर्म और समाज का हूं। मैं ऐसे व्यक्ति के साथ मैं कभी नहीं रह सकता। मैं बीजेपी पार्टी से प्रभावित हूं। मैं ऐसे नेता के साथ नहीं रह सकता जिसपर मेरे धर्म के लोगों की हत्या का आरोप हो। इस दौरान सीएम शिवराज ने भी कहा कि नरेंद्र सलूजा अपनी शर्तों पर अपना पद छोड़कर बीजेपी की विचारधारा से प्रभावित होकर साथ आए हैं। इनके आने से बीजेपी को मजबूती मिलेगी।
कई सालों से जुड़े थे
नरेंद्र सलूजा कमलनाथ के साथ कई सालों से जुड़े थे, लेकिन 2018 में कमलनाथ पीसीसी चीफ बनते ही नरेंद्र सलूजा को कमलनाथ का मीडिया कॉर्डिनेटर बना दिया गया था। हाल के कुछ महीनों से उनकी अनदेखी हो रही थी। मीडिया विभाग के पुनर्गठन के दौरान उन्हें पैनल में जगह नहीं दी गई थी। इसे लेकर वह नाराज हो गए थे। इसके बाद फिर से उन्हें जगह मिल गई थी। पिछले दिनों 8 नवंबर को इंदौर के खालसा कॉलेज में गुरुनानक जयंती के एक कार्यक्रम का आयोजन किया गया था। उस कार्यक्रम में कमलनाथ भी पहुंचे थे।
आयोजकों में नरेंद्र सलूजा का भी नाम था। नरेंद्र सलूजा मूलतः इंदौर के रहने वाले हैं। कार्यक्रम के दौरान सिख दंगों को लेकर कमलनाथ का जबरदस्त विरोध हुआ था। जिसके बाद नरेंद्र सलूजा को कमलनाथ के मीडिया कॉर्डिनेटर के पद से भी हटा दिया गया था। नरेंद्र सलूजा के बीजेपी में जाने से कांग्रेस हमलावर है कांग्रेस ने सलूजा पर विपक्षी पार्टी से जुड़े होने का आरोप लगाते हुए कांग्रेस विरोधी गतिविधियों के चलते 13 नवंबर को 6 साल के लिए निष्कासित करने का पत्र अब जारी किया है।