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बिहार

Bihar Election से पहले JDU को बड़ा झटका, 15 नेताओं ने एकसाथ दिया इस्तीफा

बिहार विधानसभा चुनाव से पहले जेडीयू की बढ़ती मुश्किलें कम होने का नाम नहीं ले रही है। पहले से ही वक्फ संशोधन विधेयक को लेकर मुस्लिम नेताओं की नाराजगी झेल रही जेडीयू को अब एक और बड़ा झटका लगा है। जेडीयू के 15 नेताओं ने एकसाथ पार्टी से इस्तीफा दे दिया है।

Author Edited By : Satyadev Kumar Updated: Apr 7, 2025 21:01
JDU Muslim leaders resignation
बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार।

अरविन्द कुमार, मोतिहारी।

बिहार के मोतिहारी जिले में जेडीयू को बड़ा झटका लगा है। यहां एकसाथ 15 जदयू पदाधिकारियों ने इस्तीफा दे दिया है। इससे मोतिहारी के राजनीतिक दलों में हड़कंप मचा हुआ है। इस्तीफा देने वाले पदाधिकारियों ने आगे नीतीश सरकार के खिलाफ आंदोलन और धरना-प्रदर्शन की चेतावनी भी दी है। इस्तीफा देने वाले नेताओं का कहना है कि सरकार को किसी भी कीमत पर वक्फ बिल वापस लेना होगा, नहीं तो हम लोग गांधीवादी विचारधारा के साथ धरना-प्रदर्शन के साथ आंदोलन कर सरकार को जवाब देंगे। बता दें कि 2020 में पूर्वी चंपारण जिले के 12 विधानसभा क्षेत्रों में से मात्र एक विधानसभा केसरिया से जदयू की शालिनी मिश्रा ने जीत दर्ज की थी। वहीं, जदयू के पूर्व जिलाध्यक्ष प्रमोद सिन्हा ने जदयू छोड़कर भाजपा के टिकट पर रक्सौल से चुनाव लड़ा था और जीत दर्ज की थी।

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जेडीयू से इस्तीफा देने का सिलसिला जारी

मोतिहारी जिले के ढाका विधानसभा क्षेत्र में जनता दल यूनाइटेड (जेडीयू) से इस्तीफा देने का सिलसिला जारी है। पिछले दिनों जदयू के प्रवक्ता डॉ कासिम अंसारी ने इस्तीफा दिया था। इसके बाद ढाका प्रखंड के जनता दल यूनाइटेड के 15 पदाधिकारियों ने एक साथ सामूहिक रूप से इस्तीफा दिया है, जिससे जिले की राजनीति में जेडीयू के अंदर भूचाल आ गई है। बता दें कि ढाका विधानसभा मुस्लिम बहुल क्षेत्र है। ढाका विधानसभा शिवहर लोकसभा क्षेत्र में पड़ता है। शिवहर लोकसभा से जेडीयू सांसद लवली आनंद जीत दर्ज की थी तो ढाका से पवन जायसवाल भाजपा के विधायक हैं।

अब ऐसे में देखना दिलचस्प होगा कि चुनावी साल में एक तरफ जहां विपक्ष लगातार सीएम नीतीश कुमार की तबीयत पर सवाल उठा रहा है, वहीं दूसरी तरफ बीजेपी के पैटर्न पर जेडीयू के चलने की वजह से भाजपा में विलय या जनप्रतिनिधियों की भाजपा के साथ मेल-जोल का आरोप लगते रहता है। अब ऐसे में देखना होगा चुनावी साल में केंद्र सरकार द्वारा लाई गई वक्फ बिल में जदयू का साथ देना लाभदायक होगा या नुकसानदायक, लेकिन फिलहाल जदयू में लगातार टूट पड़ती जा रही है।

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इन नेताओं ने दिया इस्तीफा

1. गौहर आलम- प्रखंड अध्यक्ष युवा जदयू, ढाका

2. मो. मुर्तुजा – कोषाध्यक्ष – नगर परिषद, ढाका

3. मो. शबीर आलम- प्रखण्ड उपाध्यक्ष युवा जदयू, ढाका

4. मौसिम आलम- नगर अध्यक्ष अल्पसंख्यक प्रकोष्ठ, ढाका

5. जफीर खान नगर सचिव, ढाका

6. मो. आलम, नगर महासचिव, ढाका

7. मो. तुरफैन प्रखंड महासचिव युवा जदयू, ढाका

8. मो. मोतिन नगर उपाध्यक्ष, ढाका

9. सुफैद अनवर, करमावा पंचायत युवा अध्यक्ष

10. मुस्तफा कमाल (अफरोज) युवा प्रखंड उपाध्यक्ष

11. फिरोज सिद्धीको प्रखंड सचिव युवा जदयू, ढाका

12. सलाउद्दीन अंसारी – नगर महासचिव, ढाका

13. सलीम अंसारी नगर महासचिव, ढाका

14. एकरामुल हक, नगर सचिव, ढाका

15. सगीर अहमद – नगर सचिव, ढाका

15 में से एक को पार्टी ने माना अपना पदाधिकारी

वहीं, जदयू के ढाका प्रखंड अध्यक्ष नेहाल अख्तर ने बताया कि इन सभी नेताओं में एक युवा अध्यक्ष को छोड़कर कोई भी नेता पार्टी का नहीं है। केवल विपक्षियों के द्वारा जदयू को बदनाम करने के लिए इस तरह की साजिश रची जा रही है। अगर इन सभी नेताओं ने इस्तीफा दिया है तो अपनी प्राथमिक सदस्यता का प्रमाण दें।

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Edited By

Satyadev Kumar

First published on: Apr 07, 2025 08:47 PM

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