Margashirsha Amavasya 2025 Upay: आज 20 नवंबर 2025, वार गुरुवार को मार्गशीर्ष माह के कृष्ण पक्ष की अमावस्या तिथि है, जिसे मार्गशीर्ष अमावस्या के नाम से भी जाना जाता है. मार्गशीर्ष अमावस्या के दिन जगत के पालनहार भगवान विष्णु और पितरों की विशेषतौर पर पूजा-अर्चना की जाती है. धार्मिक मान्यता के अनुसार, जिन लोगों के ऊपर उनके पितरों की विशेष कृपा होती है, वो कभी भी किसी बड़े संकट में नहीं फंसते हैं बल्कि हर काम समय पर पूर्ण होता है. इसके अलावा वंश आगे बढ़ता है और घर-परिवार में खुशियों का वास होता है.
यदि किसी कारण से आज मार्गशीर्ष अमावस्या पर आप पितरों की आत्मा की शांति के लिए तर्पण या पिंडदान नहीं कर पा रहे हैं तो कुछ उपायों को करके भी पितरों को खुश कर सकते हैं. चलिए जानते हैं शास्त्रों में लिखित मार्गशीर्ष अमावस्या की शाम करने वाले प्रभावशाली उपायों के बारे में.
मार्गशीर्ष अमावस्या की शाम करने वाले उपाय
- मार्गशीर्ष अमावस्या की शाम पीपल के पेड़ की पूजा करें. पेड़ की जड़ में जल अर्पित करने के बाद 7 बार परिक्रमा करें. साथ ही देसी घी का दीपक जलाएं और अपनी मनोकामना को तीन बार बोलें. माना जाता है कि पीपल के पेड़ में पितरों का वास होता है, इसलिए अमावस्या की शाम वृक्ष की पूजा की जाती है. इससे न सिर्फ पितरों का विशेष आशीर्वाद मिलता है, बल्कि जीवन में आ रही परेशानियां भी कम होने लगती हैं.
- आज अमावस्या की शाम विष्णु जी की पूजा करें. पूजा करने के बाद एक मिट्टी का पात्र लें. पात्र में पानी भरें और उसे छत पर रख दें. रातभर पात्र को छत पर रखें. अगले दिन सुबह पीपल के पेड़ की पूजा करें और वृक्ष की जड़ में छत पर रखा पानी अर्पित करें. इससे न सिर्फ आपके घर में सकारात्मक ऊर्जा का वास होगा, बल्कि पितृ भी खुश रहेंगे. वहीं, अगर घर के किसी सदस्य की तबीयत खराब है तो उनकी सेहत में भी सुधार होने लगेगा.
- अमावस्या की शाम विष्णु जी की पूजा करने के बाद घर के मुख्य दरवाजे के कोने पर दक्षिण दिशा की तरफ घी के 2 दीपक जलाएं. इस दौरान पितरों का स्मरण करें और जाने-अनजाने में की गई गलतियों के लिए माफी मांगें. ऐसा करने से आपको पितरों की विशेष कृपा प्राप्त होगी. साथ ही घर में सुख, शांति, समृद्धि, धन और वैभव आदि का वास होगा.
मार्गशीर्ष अमावस्या की पूजा का शुभ मुहूर्त
द्रिक पंचांग के अनुसार, आज 20 नवंबर 2025 को शाम 5 बजकर 26 मिनट से लेकर शाम 6 बजकर 46 मिनट तक सायाह्न सन्ध्या मुहूर्त है. इस दौरान आप विष्णु जी की पूजा करने के साथ मार्गशीर्ष अमावस्या के अचूक उपाय कर सकते हैं.
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डिस्क्लेमर: यहां दी गई जानकारी धार्मिक मान्यताओं पर आधारित है तथा केवल सूचना के लिए दी जा रही है. News24 इसकी पुष्टि नहीं करता है.










