Corona Virus Omicron Sub Variant JN.1 : दुनिया में एक बार फिर कोरोना वायरस अपना पैर पसार रहा है। कई देशों में कोविड के मामले बढ़ रहे हैं। इस बार कोरोना वायरस का एक नया सब वैरिएंट सामने आया है, जो तेजी से फैल रहा है। इसका नाम ओमिक्रॉन सब वैरिएंट JN.1 है। इसे लेकर विश्व स्वास्थ्य संगठन (WHO) ने भी अलर्ट जारी किया है। आइये जानते हैं कि कोरोना का नया सब वैरिएंट JN.1 कितना घातक और खतरनाक है।
डब्ल्यूएचओ ने मंगलवार को चेतावनी जारी करते हुए कहा कि ‘वैरिएंट ऑफ इंटरेस्ट’ की लिस्ट में कोरोना वायरस के नए स्ट्रेन JN.1 को शामिल किया गया है, लेकिन यह संक्रमण ज्यादा खतरनाक नहीं है। पहले JN.1 के मूल वंश BA.2.86 के एक हिस्से को वैरिएंट ऑफ इंटरेस्ट में शामिल किया गया है या वर्गीकृत किया गया है। WHO की टीम अब इस वैरिएंट पर निगरानी रख रही है। डब्ल्यूएचओ ने माना है कि वर्तमान में कोरोना वायरस के नए सब वैरिएंट JN.1 ज्यादा घातक नहीं है।
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जानें क्यों वैरिएंट ऑफ इंटरेस्ट में शामिल किया जाता है संक्रमण
आपको बता दें कि डब्ल्यूएचओ की ओर से वैरिएंट ऑफ इंटरेस्ट में कोरोना वायरस के उस वैरिएंट को शामिल किया जाता है, जो ज्यादा खतरनाक नहीं होता है। वहीं, वैरिएंट ऑफ कंसर्न में कोरोना वायरस के उस वैरिएंट जैसे- अल्फा, बीटा, गामा को रखा जाता है, जो ज्यादा घातक होता है। डब्ल्यूएचओ द्वारा कोरोना वायरस के वैरिएंट को उसके जोखिम, प्रकार और संक्रमण दर से मिले साक्ष्य के आधार पर वैरिएंट ऑफ इंटरेस्ट और वैरिएंट ऑफ कंसर्न में वर्गीकृत करता है।
WHO ने कहा कि तेजी से विकसित हो रहा वायरस
WHO ने कहा कि नए सब वैरिएंट JN.1 के संक्रमण से लड़ने के लिए मौजूदा कोरोना वैक्सीन काफी कारगार है। यह वायरस तेजी से विकसित होकर फैल रहा है। इस पर डब्ल्यूएचओ ने सभी देशों को कोरोना वायरस के नए वैरिएंट के प्रति सचेत रहने के कहा है। आपको बता दें कि भारत और सिंगापुर समेत कई देशों में कोरोना के नए वैरिएंट JN.1 के लक्षण पाए गए हैं। इसे लेकर भारत सरकार के स्वास्थ्य मंत्रालय ने अलर्ट जारी किया है और भीड़भाड़ वाली जगह पर मास्क लगाने की अपील की है।