Three More Deputy Chief Ministers in Karnataka Apart from DK Shivakumar? क्या कर्नाटक में वर्तमान डिप्टी सीएम डीके शिवकुमार के अलावा तीन और डिप्टी सीएम बनाए जाएंगे? ये सवाल हमारा नहीं, बल्कि राजनीतिक गलियारों में चल रहा है। कर्नाटक के सहकारिता मंत्री और कांग्रेस के वरिष्ठ पदाधिकारी केएन राजन्ना के राज्य में तीन और डिप्टी सीएम नियुक्त करने का सुझाव दिया है, जिसके बाद राजनीतिक दलों में हलचल तेज हो गई है। याद रहे कि वर्तमान में वोक्कालिगा समुदाय के डीके शिवकुमार डिप्टी सीएम हैं।
2024 के चुनाव के लिए बताया फायदेमंद
टीओआई की एक रिपोर्ट के अनुसार, मुख्यमंत्री सिद्धारमैया के करीबी सहयोगी राजन्ना ने वीरशैव-लिंगायत, एससी/एसटी और अल्पसंख्यक समुदायों से डिप्टी सीएम बनाए जाने की पैरवी करते हुए कहा है कि इस कदम से 2024 के लोकसभा चुनाव में कांग्रेस को मदद मिलेगी। उन्होंने कहा, मेरा इरादा और विश्वास है कि कांग्रेस कर्नाटक में अधिकतम सीटें जीतें। साथ ही उन्होंने कहा है कि ऐसा करना है तो सभी प्रमुख समुदायों को एक डिप्टी सीएम का पद दिया जाना चाहिए।
कांग्रेस आला कमाल को पत्र लिखने की तैयारी
उन्होंने लिंगायत समुदाय का उदाहरण भी दिया। कहा कि हाल के विधानसभा चुनावों में पार्टी का समर्थन करने से पहले कांग्रेस छोड़ दी थी। हमें शीर्ष पद की पेशकश करके उन्हें बरकरार रखने पर विचार करना चाहिए। उन्होंने कहा कि मैंने कुछ दिनों में कांग्रेस आलाकमान को पत्र लिखने का फैसला किया है। मैं अक्टूबर के पहले सप्ताह में दिल्ली में पार्टी के वरिष्ठ नेताओं से भी मुलाकात करूंगा और उन्हें इस पक्ष में मनाने की कोशिश करूंगा।
डीके शिवकुमार की तारीफ की
क्या उनके बयान से डीके शिवकुमार नाराज होंगे? इस सवाल पर राजन्ना ने कहा कि ऐसा क्यों होगा? मैंने किसी के खिलाफ नहीं बोला है। शिवकुमार एक डिप्टी सीएम हैं और पार्टी की राज्य इकाई के अध्यक्ष भी हैं। वह पार्टी को संगठित कर रहे हैं, क्योंकि वह एक अच्छे संगठनकर्ता हैं। उन्होंने कहा कि मुझे नहीं लगता, उन्हें परेशान होने की जरूरत है।
बीके हरिप्रसाद ने किया था ये जुबानी हमला
हालांकि, कांग्रेस में एक वर्ग का मानना है कि राजन्ना ने यह बयान हाल ही में डीके शिवकुमार खेमे के एमएलसी बीके हरिप्रसाद की ओर से मुख्यमंत्री पर किए गए जुबानी हमले के जवाब में दिया था। हरिप्रसाद ने सीएम पर निशाना साधते हुए कहा था कि दलित जी परमेश्वर (अब गृह मंत्री) और एसटी समुदाय से सतीश जारकीहोली (सार्वजनिक निर्माण मंत्री) को डीसीएम बनाया जाना चाहिए था।
…कहीं ये योजना तो नहीं
कुछ लोगों का यह भी दावा है कि यह बयान सरकार और पार्टी दोनों में डीके शिवकुमार के प्रभाव का मुकाबला करने के लिए सिद्धारमैया के खेमे की योजना का हिस्सा हो सकता है। हालांकि पूर्व में ये भी चर्चाएं थीं कि डीके शिवकुमार इस सरकार के आधे कार्यकाल के बाद सीएम पद की मांग कर सकते हैं।
डीके शिवकुमार ने टिप्पणी से किया इनकार
राजन्ना के बयान पर प्रतिक्रिया देते हुए आईटी/बीटी मंत्री प्रियांक खड़गे ने कहा कि कोई भी कांग्रेस के केंद्रीय नेतृत्व के सामने अपनी राय रख सकता है, लेकिन मुझे नहीं लगता कि आलाकमान के सामने तीन और डिप्टी वाला कोई प्रस्ताव है। उधर, डीके शिवकुमार ने इस मामले पर टिप्पणी करने से इनकार कर दिया है।