SU-57 Fighter Jet Deal And Features: रूसी राष्ट्रपति पुतिन के भारत दौरे के दौरान भारत-रूस के बीच 5वीं पीढ़ी के रूसी फाइटर जेट Su-57E की डील पर चर्चा हुई, लेकिन रूस ने भारत को एक स्पेशल डील ऑफर की है. रूसी कंपनी रोस्टेक के CEO सर्गेई ने भारत को फाइटर जेट Su-57 का लोकलाइज प्रोडक्शन का ऑफर दिया है, जिसके लिए जो भी रिक्वायरमेंट होंगी, वह रूस पूरी करेगा. वहीं भारत में बनने वाले फाइटर जेट का एक्सपोर्ट भी किया जा सकेगा. दूसरे फाइटर जेट्स को भी अपग्रेड कर पाएगा.
🚨⚡️ The Russian Terror Weapon: The Legendary Fighter Su-57! 🤯
This fifth-generation fighter is the collective nightmare of the West, with its superiority over the F-22 and F-35 in maneuverability capabilities, stealth, and integrated combat systems.. 🇷🇺🔥 pic.twitter.com/fBitbkUQez---विज्ञापन---— RussiaNews 🇷🇺 (@mog_russEN) October 30, 2025
HAL के नासिक प्लांट में बना सकते जेट
मिली जानकारी के अनुसार, हिंदुस्तान एयरोनॉटिक्स लिमिटेड (HAL) की नासिक फैक्ट्री में फाइटर जेट बनाया जाएगा, जिसके लिए 100 प्रतिशत रूसी टेक्नोलॉजी भारत ट्रांसफर की जाएगी. रूस भारत को सोर्स कोड देगा. Su-30MKI फाइटर जेट को Su-57 फाइटर जेट की टेक्नोलॉजी से अपग्रेड करने में मदद करेगा. AL-51 इंजन को इस फाइटर जेट में फिट किया जा सकता है, जो भारत को रूस उपलब्ध कराएगा. इन सभी ऑफर के साथ भारत फाइटर जेट को अपनी जरूरतों के हिसाब से मॉडयूल कर सकेगा.
लोकल प्रोडक्शन से क्या होगा फायदा?
बता दें कि भारत का लक्ष्य साल 2035 तक अपना स्टील्ड जेट एडवांस्ड मीडिया कॉम्बैट एयरक्राफ्ट (AMCA) बनाने कहा है, लेकिन Su-57 मॉडल का फाइटर जेट HAL की फैक्ट्री में बनने से जहां लोगों को नौकरियां मिलेंगी, वहीं भारत को नई टेक्नोलॉजी भी मिलेगी. चीन और पाकिस्तान के स्टील्थ जेट का मुकाबला करने के लिए स्टील्थ जेट भारत को मिला जाएगा. अमेरिका के F-35 फाइटर जेट पर डिपेंडेंसी खत्म हो जाएगी. भारत को इस समय 12 स्क्वाड्रन की जरूरत है, जिसमें एक स्क्वाड्रन में 18 फाइटर जेट होंगे.
🚨 BIG BREAKING
— Megh Updates 🚨™ (@MeghUpdates) November 19, 2025
Russia has offered Su-57 fighter jet production in India with FULL tech transfer ahead of President Putin’s visit 🔥 pic.twitter.com/yRMe45FyXN
बैन के कारण डिलीवरी संभव नहीं
रूस अभी हर साल करीब 12 फाइटर जेट Su-57 बना रहा है. साल 2028 तक 20 और बनाए जाने हैं, जिनकी रूस को जरूरत है और भारत को डिलीवरी देने में भी समय लग सकता है. भारत को फरवरी में 126 फाइटर जेट ऑफर किए गए थे, लेकिन यूक्रेन युद्ध के चलते प्रतिबंध लगने से रूस फाइटर जेट का निर्माण नहीं कर पा रहा है, इसलिए भारत अपना स्टील्थ फाइटर जेट बनाए तो बेहतर होगा, उसके लिए टेक्नोलॉजी रूस देगा. भारत अपने यहां रूस से पहले फाइटर जेट बनाकर अपनी ताकत बढ़ा सकता है.
भारत को क्यों चाहिए SU-57 जेट?
रूस के अनुसार, क्योंकि भारतीय पायलटों को Su-30MKI फाइटर जेट उड़ाने का अनुभव है, इसलिए वे Su-57 फाइटर जेट को भी उड़ा सकते हैं, लेकिन भारत स्टील्थ जेट के बिना अमेरिका और चीन से पीछे है. अमेरिका के पास 5वीं पीढ़ी के स्टील्थ फाइटर जेट F-35, रूस के पास Su-57 और चीन के पास J-20 हैं. भारत 5वीं पीढ़ी का स्टील्थ फाइटर जेट Su-57 बनकर इन देशों के बराबर मुकाबले में खुद को स्टैंड कर सकता है. बता दें कि पाकिस्तान भी चीन के J-35A स्टील्थ फाइटर जेट को खरीदने की योजना बना रहा है.
The SU 57 , the best FIGHTER JET currently in operation in the World ! https://t.co/5fjpEDJm7u pic.twitter.com/mSXWXpufp3
— 𝐃𝐚𝐯𝐢𝐝 𝐙 🇷🇺 🇮🇪 (@SMO_VZ) October 27, 2025
Su-57 फाइटर जेट की खासियतें
बता दें कि Su-57 फाइटर जेट का नाटो नाम फेलॉन है और 5वीं पीढ़ी का स्टील्थ फाइटर जेट है. इसकी कीमत 80 मिलियन डॉलर (670 करोड़ रुपये) है. इसकी रेंज करीब 3500 किलोमीटर और स्पीड करीब 2450 किलोमीटर प्रति घंटा है. यह फाइटर जेट राडार में नजर नहीं आएगा, जिस वजह से यह किसी भी डिफेंस सिस्टम को चकमा देने में सक्षम है. अगर फाइटर जेट आफ्टरबर्नर के बिना उड़ान भरेगा तो सुपरसोनिक स्पीड से उड़ेगा, जिससे ईंधन बचेगा. यह फाइटर जेट किंजल मिसाइल को कैरी करने में सक्षम है.
20000 मीटर की ऊंचाई तक फ्लाई कर सकता है. इस फाइटर जेट से पायलट को जहां 360 डिग्री का व्यू मिलेगा. इसका रखरखाव करना भी सस्ता है.










