Face Recognition System Republic Day Parade : 75 वें गणतंत्र दिवस को लेकर दिल्ली में सुरक्षा व्यवस्था चाक-चौबंद है। इस बार कर्तव्य पथ पर फेस रिकग्निशन सिस्टम (FRC) से निगरानी की जा रही है। क्या आपको पता है कि यह सिस्टम काम कैसे करता है? इस सिस्टम के क्या फायदे हैं? दरअसल, यह सिस्टम चेहरे से किसी की पहचान करने का पुख्ता तरीका है। इससे किसी की वीडियो, फोटो या फिर रियल टाइम में पहचान की जाती है।
यह बायोमेट्रिक सुरक्षा का एक हिस्सा है
जानकारों की मानें तो यह किसी की पहचान करने का 75 फीसदी कारगर तरीका है। हमने अपने फोन में इसका एक छोटा रूप देखा है। दरअसल, कई मोबाइल में FaceID का फीचर मिलता है। जिसमें फोन में फेस आईडी से लॉक और अनलॉक किया जाता है। कई महंगे फोन में इसका एडवांस वर्जन भी आते है जिसमें यह FRC सिस्टम की तरह TrueDepth कैमरा और मशीन लर्निंग का यूज कर फेस रिकग्निशन करते हैं। जानकारी के अनुसार यह बायोमेट्रिक सुरक्षा का एक हिस्सा है। जिसमें AI की मदद से लोग और भीड़ की पहचान करने में मदद मिलती है। इसके अलावा बायोमेट्रिक सुरक्षा में शख्स की आवाज, फिगरप्रिंट, आई रेटिना आदि से लोगों की पहचान की जाती है।
ऐसे करता है काम, यह हैं फायदे
- यह सिस्टम कैमरा और डाटा बेस (सॉफ्टवेयर) पर काम करता है।
- पहले कैमरा चेहरे की इमेज को कैप्चर करता है।
- सॉफ्टवेयर इमेज का डाटा से मिलान करता है। यह मिलान आंखों के बीच की दूरी, माथे से ठुड्डी तक की दूरी, आपके गालों का आकार, होंठ, कान आदि का होता है।
- चेहरे के इन फ्रेसप्रिंट से ही डाटा से उक्त व्यक्ति की पहचान होती है। हर व्यक्ति का अलग फेस प्रिंट होता है।
- इस टैक्नॉलजी का भीड़ में किसी की पहचान करने और कानून व्यवस्था बनाए रखने के लिए किया जाता है।
- कई जगह एयरपोर्ट और देश के बॉर्डरों पर भी इसे यूज करते हैं
- भीड़भाड़ वाले इलाके में गुमशुदा की तलाश करने में यह काफी मददगार है