विनोद जगदाले, मुंबई: महाराष्ट्र में सत्ता में शामिल शिवसेना बीजेपी गठबंधन में पड़ी हुई दरार को और चौड़ा शिवसेना के द्वारा दिये गए एक विज्ञापन ने किया है। शिवसेना द्वारा महाराष्ट्र के सभी प्रमुख अख़बारों में एक विज्ञापन दिया गया है जिसमे एक निजी सर्वे का हवाला देते हुए बताया गया है कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे की जोड़ी ने महाराष्ट्र में किए गए लोककल्याणकारी कामों के कारण हाल ही में किए गए सर्वे में उन्हें अव्वल स्थान हासिल हुआ है।
भारतीय जनता पार्टी को 30.2% लोग पसंद करते हैं!
विज्ञापन में सर्वे के अनुसार बताया गया है की भारतीय जनता पार्टी को 30.2% और शिवसेना को 16.2% लोगों ने अपनी पसंद किया है यानी महाराष्ट्र की 46.4% जनता गठबंधन (युती) को फिर से सत्ता में लाने के लिए इच्छुक है। सर्व में चौकनेवाली बात है कि मुख्यमंत्री को लेकर भी इस सर्वे में 26.1% जनता मौजूदा मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे को दुबारा मुख्यमंत्री के रूप में देखना चाहती है तो देवेंद्र फडनविस को 23.2% जनता मुख्यमंत्री देखना चाहती है यानी महाराष्ट्र की 49.3% जनता ने शिंदे फडनविस जोड़ी को फिरसे पसंद किया है।
विज्ञापन पर संजय राऊत का हमला
सीएम के बेटे सांसद श्रीकांत शिंदे की कल्याण लोकसभा सीट और सीएम शिंदे का गढ़ कहेजानेवाली ठाणे लोकसभा सीट को लेकर शिवसेना बीजेपी में तनातनी जारी है इस महीने के अंत में सरकार को एक साल पूरा हो रहा है लेकिन अबतक मंत्रीमंडल के विस्तार का पता नहीं शिंदे सरकार में शिवसेना के 5 मंत्रियों को भाजपा का विरोध होने की खबरे आ रही है। ऐसे में यह विज्ञापन शिवसेना का प्रेशर पॉलिटिक्स समझा जा रहा है। शिवसेना के विज्ञापन पर संजय राऊत का कहना है की यह सर्वे कहाँ किया गया मुख्यमंत्री के बंगले में किया गया या गुजरात में किया गया एक सर्वे का विज्ञापन करोड़ों रुपये देकर किया गया ख़ुद को बालासाहब ठाकरे का वारिस कहनेवालों ने विज्ञापन में मोदी का फोटो दिया है लेकिन करोड़ों रुपये के विज्ञापन में बालासाहब का फोटो नहीं है इसीलिए यह शिवसेना नहीं बल्कि मोदी शाह की सेना है।