Joint Home Loan: घर खरीदा कोई आसान बात नहीं, वर्षों की मेहनत व कमाई लग जाती है। यह एक तरह का बड़ा निवेश होता है। लोग आमतौर पर होम लोन लेते हैं। यह पुनर्भुगतान लाभ के साथ-साथ कर लाभ भी प्रदान करते हैं। गृह ऋण के माध्यम से संपत्ति के मूल्य का 90% तक वित्तपोषण किया जा सकता है। होम लोन कितना मिल सकता है यह तो स्थिति पर निर्भर करता है, लेकिन अगर आप ज्वॉइंट लोन ले रहे हैं तो लोन की सीमा अधिक हो सकती है। इसमें आय को भी ध्यान में रखा जा सकता है।
जॉइंट होम लोन लेना है तो आपका जो पार्टनर होना चाहिए वो माता-पिता, जीवनसाथी, भाई-बहन, बेटा या अविवाहित बेटी जैसे करीबी रिश्तेदार होने चाहिए। होम लोन लेने वाले सभी आवेदकों के आय दस्तावेजों के साथ सभी सह-आवेदकों के केवाईसी दस्तावेज और ऋण संबंधी दस्तावेज उपलब्ध कराने होंगे।
पत्नी के साथ लेंगे लोन को मिलेगा फायदा
जॉइंट होम लोन के लिए स्वीकृत की जा सकने वाली उच्च सीमा के अलावा, कई बैंक कम ब्याज दरों की पेशकश करते हैं यदि पहली आवेदक एक महिला है। ऐसे में अगर पति पत्नी को पहली आवेदक बनाकर खुद उसका पार्टनर बनता है तो महिला आवेदकों के मामले में गृह ऋण समझौतों या फिर जिसे ऋण प्रसंस्करण शुल्क भी कहते हैं। उसके लिए कम स्टांप शुल्क का लाभ भी हो सकता है। ऋण प्राप्त करते समय उपलब्ध ऐसे प्रस्तावों की जांच करना अच्छा होता है।
एक संयुक्त गृह ऋण का फायदा यह भी है कि आप ज्यादा लोन ले पाएंगे और उसका बोझ भी शेयर हो जाएगा। संयुक्त गृह ऋण लेने के महत्वपूर्ण लाभों में से एक यह है कि सह-आवेदक व्यक्तिगत रूप से मूलधन के साथ-साथ ब्याज भुगतान पर संयुक्त ऋण पर कर लाभ प्राप्त कर सकते हैं।
इन बातों का रखें ध्यान
- गृह लोन के लिए सह-आवेदक का घर का सह-स्वामी (co-owner) होना आवश्यक नहीं है।
- एक अनिवासी भारतीय (NRI) भी ऋण के लिए सह-आवेदक हो सकता है।