Shani Ratan: हिन्दू धर्म में कई शास्त्र हैं जिनमें से एक वैदिक ज्योतिष शास्त्र है जिसमें व्यक्ति के बारे में राशि के माध्यम से बताया जाता है। जबकि, रत्न शास्त्र में ग्रह और रत्न को धारण करने के प्रभाव के बारे में जानकारी दी जाती है। कुंडली में किसी ग्रह के कमजोर होने पर रत्न धारण करने की सलाह दी जाती है। वहीं, कुछ राशि के लिए नौ रत्नों में कुछ रत्न को लाभकारी बताया जाता है। हालांकि, विशेषज्ञ की सलाह के बिना रत्न धारण नहीं करना चाहिए।
कर्मफल दाता और न्याय के देवता शनि की कृपा पाने के लिए कुछ रत्न लाभकारी माने जाते हैं। ये तो ज्यादातर लोग जाते हैं कि शनि का रत्न नीलम उन्हें बहुत प्रिय है और इसे धारण करने वाला रंक भी राजा बन सकता है। जबकि, बिना सही जानकारी के शनि रत्न पहनने से अशुभ प्रभाव का भी सामना करना पड़ सकता है।
शनि देव को बहुत प्रिय हैं ये 3 रत्न
शनि देव को सिर्फ नीलम रत्न ही प्रिय नहीं है बल्कि दो और रत्न हैं जिन्हें धारण करने से शनि की कृपा प्राप्त की जा सकती है। आइए शनि के 3 सबसे प्रिय रत्न के बारे में विस्तार से जानते हैं।
नीलम रत्न
शनि देव का सबसे पसंदीदा रत्न नीलम है इसे मकर राशि और कुंभ राशि के जातक पहन सकते हैं। वृषभ राशि, मिथुन राशि, कन्या राशि और तुला राशि के लोग नीलम रत्न को धारण कर सकते हैं। इसके अलावा जिन लोगों की कुंडली में शनि ग्रह उच्च में विराजमान हैं या कमजोर स्थिति के साथ है तो ऐसे लोगों के लिए नीलम रत्न को धारण करना शुभ रहेगा। इसे धारण करने पर कारोबार में उन्नति, नौकरी में प्रमोशन, आत्मविश्वास में बढ़ोतरी जैसे लाभ मिल सकते हैं।
फिरोजा रत्न
शनि देव के प्रिय रत्नों में से एक फिरोजा रत्न भी है जो बृहस्पति गुरु ग्रह का उपरत्न माना जाता है। ऐसे लोग जिनकी कुंडली में गुरु ग्रह कमजोर होते हैं उन्हें फिरोजा रत्न धारण करने की सलाह दी जाती है। सिर्फ गुरु ग्रह नहीं शनि के कमजोर होने पर भी फिरोजा रत्न पहनने की सलाह दी जाती है। मेष राशि, कर्क राशि, सिंह राशि, वृश्चिक राशि और धनु राशि के जातकों के लिए फिरोजा रत्न लाभकारी साबित होता है, लेकिन विशेषज्ञ की सलाह के बिना ये रत्न धारण न करें।
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लाजवर्त रत्न
लाजवर्त रत्न को भी शनि देव का सबसे प्रिय रत्न माना जाता है। शनि के अलावा राहु और केतु का रत्न भी लाजवर्त स्टोन माना जाता है। देखने में नीलम जैसे रंग का है लेकिन इसे अलग होता है। कुंडली में अगर राहु, केतु और शनि ग्रह कमजोर है तो इसकी मजबूती के लिए लाजवर्त रत्न को धारण करना चाहिए। ये रत्न मकर राशि और कुंभ राशि के जातकों के लिए धारण करने शुभ माना जाता है, लेकिन ध्यान रहे कि कुंडली को दिखाने और सलाह करने के बाद ही लाजवर्त रत्न को धारण करें।
डिस्क्लेमर: यहां दी गई जानकारी ज्योतिष शास्त्र पर आधारित है तथा केवल सूचना के लिए दी जा रही है। News24 इसकी पुष्टि नहीं करता है।