Amalaki Ekadashi ke Upay: सनातन धर्म में एकादशी तिथि भगवान विष्णु को समर्पित की गई है। बारह महीनों में कुल 24 एकादशियां आती हैं। इनमें 12 शुक्ल पक्ष में और 12 कृष्ण पक्ष में आती हैं। इन सभी को अलग-अलग नाम दिए गए हैं। सभी का अलग-अलग महत्व है। परन्तु सभी में एक बात कॉमन है कि किसी भी एकादशी का व्रत किया जाए, व्यक्ति के समस्त पाप नष्ट हो जाते हैं।
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यह है आमलकी एकादशी की कथा (Amalaki Ekadashi Vrat Katha)
फाल्गुन माह के शुक्ल पक्ष की एकादशी को आमलकी एकादशी कहा जाता है। इस एकादशी का महात्म्य शास्त्रों में दिया गया है। इसके निमित्त कई कथाएं भी बताई गई हैं। सर्वाधिक लोकप्रिय कथा इस प्रकार है कि एक शिकारी था। वह जंगल में शिकार करने के लिए गया। उस दिन संयोगवश आमलकी एकादशी थी।
वह जंगली जानवरों की खोज में वन में स्थित एक विष्णु मंदिर के बाहर छिप गया। दिन भर वहीं भूखा-प्यासा रहकर शिकार की बाट जोहता रहा। इसके साथ ही मंदिर में हो रहे पूजा-पाठ के स्वर भी उसके कानों में गूंजते रहें। इस प्रकार उसने अनजाने में ही आमलकी एकादशी का व्रत कर लिया। अगले जन्म में उस व्रत के प्रभाव से वह राजा बना। इस प्रकार कहा जाता है कि आमलकी एकादशी का व्रत करने से व्यक्ति को राजयोग की प्राप्ति होती है।
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इन उपायों से दूर होगी हर मुश्किल (Amalaki Ekadashi ke Upay)
यदि एकादशी पर कुछ बहुत ही साधारण से उपाय कर लिए जाएं तो व्यक्ति समस्त कष्टों से मुक्त हो सकता है। ऐसे ही दो उपाय यहां दिए जा रहे हैं।
- एकादशी के दिन किसी विष्णु या शिव मंदिर में जाएं और पूरे दिन निराहार रहते हुए नारायण, नारायण मंत्र का अनवरत जप करते रहें। ऐसा करने पर व्यक्ति पर आया बड़े से बड़ा संकट भी टल जाता है। यहां तक कि यह उपाय मृत्यु को भी टाल देता है।
- इस दिन मां लक्ष्मी सहित भगवान विष्णु की आराधना करें। इसके बाद व्रत करते हुए छोटे अनाथ बच्चों तथा भिखारियों को भोजन कराएं। उन्हें वस्त्र, खाद्य सामग्री आदि दान करें। इस उपाय से भी भगवान अति प्रसन्न होकर मनचाहा वरदान दे देते हैं।
डिस्क्लेमर: यहां दी गई जानकारी ज्योतिष पर आधारित है तथा केवल सूचना के लिए दी जा रही है। News24 इसकी पुष्टि नहीं करता है। किसी भी उपाय को करने से पहले संबंधित विषय के एक्सपर्ट से सलाह अवश्य लें।