Ohio murder case: संयुक्त राज्य अमेरिका के ओहियो में एक पिता ने अपनी पत्नी की हत्यारी बेटी को कोर्ट से छोड़ देने की मांग की है। पिता ने दलील दी है कि उसकी पत्नी कभी नहीं चाहेगी कि बेटी को सजा मिले। जिसकी जान बेटी ने ही ली हो। कोर्ट ने जिस लड़की को 28 सितंबर को सजा सुनाई है, उसका नाम सिडनी पॉवेल है। अब पिता ने याचिका दायर कर मांग की है कि सजा पर पुनर्विचार किया जाए। पिता का नाम स्टीवन पॉवेल है। जिन्होंने काउंटी कोर्ट ऑफ कॉमन का लैटर लिखा है।
जिसमें कहा है कि उनकी पत्नी ब्रेंडा पॉवेल बेटी के लिए आजीवन कारावास की सजा नहीं चाहती थीं। उनको मौत से पहले बेटी की हिंसक परिस्थितियां दिखने लगी थीं। मार्च 2020 में उनकी हत्या के बाद उन्होंने 24 साल का साथी खोया है। पॉवेल ने कहा है कि हो सकता है कि लोगों को लगे कि पत्नी को न्याय नहीं मिला। लेकिन मैं बेटी को नरम सजा देने के हक में हूं। अब सच्चा न्याय यही होगा कि बेटी के मानसिक स्वास्थ्य का ध्यान प्राथमिकता हो।
तवे से पीट-पीटकर उतारा था मौत के घाट
एक्रोन चिल्ड्रन हॉस्पिटल के बाल जीवन विशेषज्ञ ने भी पॉवेल की भावनाओं का समर्थन किया है। पॉवेल फैमिली भी बेटी को सजा कम देने के हक में है। ये सब लैटर में कोर्ट को बताया गया है। वारदात के समय सिडनी 19 साल की थी। जिसको सिजोफ्रेनिया की बीमारी का पता लगा था। उसने अपनी मां पर चाकू से हमला किया था। पागलपन के कारण लोहे के तवे से पीट-पीटकर मार दिया था। इससे पहले मां को पता लग गया था कि उनकी बेटी को अलायंस में माउंट यूनियन विश्वविद्यालय से निकाल दिया गया है।
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जिसका कारण उसका खराब एकेडमिक रिकॉर्ड था। बेटी ने तब हमला किया था, जब ब्रेंडा पॉवेल से स्कूल के लोग फोन पर बेटी के खराब रिकॉर्ड पर डिस्कस कर रहे थे। अधिकारियों ने हमले के समय मां की चीखें सुनी थी, जिसके बाद पुलिस को बताया था। एसोसिएट डीन ऑफ स्टूडेंट्स मिशेल गैफनी ने इसकी पुष्टि की थी।
उन्होंने कहा कि चीखों के बीच फोन कट गया था। फोन को दोबारा मिलाया, तो वहां से ब्रेंडा बोलने की बात कही गई थी। उनको इस पर शक था। क्योंकि ब्रेंडा नहीं, ये सिडनी बोल रही थी। जब उन लोगों ने टोका, तो फोन काट दिया गया था। पुलिस ने सिडनी को घर के रास्ते से अरेस्ट किया था।
बेटी को 15 साल रहना होगा जेल में
वह पागलों की तरह बिहेव कर रही थी। सिडनी ने सिर्फ यहीं बताया कि उसने मां की हत्या की है। वारदात के समय वह भ्रम में थी। आवाजें सुन रही थीं। पागलपन के बाद भी कोर्ट ने उसको दोषी करार दिया। सिडनी को मारपीट और सबूतों से छेड़छाड़ का दोषी भी पाया गया। अब सिडनी को 15 साल जेल में रहना होगा।
रिहा होने के बाद वह कम से कम दो साल तक निगरानी में रहेगी। कोर्ट को लिखे लैटर में पिता ने कहा है कि उसका मर्डर के बाद लगातार 3 साल इलाज चला है। उसे अब ओहियो स्टेट रिफॉर्मेटरी फॉर वुमेन में भेजने के बजाय हॉस्पिटल में भेजा जाए। उसका मानसिक स्वास्थ्य लगातार सुधर रहा है।