अंतरिक्ष की दुनिया में अमेरिका की स्पेस एजेंसी नासा ने एक और उपलब्धि हासिल की है। नासा ने एक ऐसा स्पेसक्राफ्ट बनाया है, जो धधकते सूर्य से उठे सौर तूफान को पार करके सूर्य के करीब पहुचने में सक्षम है। इसका नाम पार्कर सोलर प्रोब है, जो 23वीं बार सूर्य के करीब से गुजरा और ऐसा करके उसने अपना ही रिकॉर्ड तोड़ दिया। पार्कर सोलर प्रोब 430000 मील प्रति घंटा की रफ्तार से सूर्य की सतह से 3.8 मिलियन मील दूर से गुजरा।
इस दौरान पार्कर ने भयंकर सौर तूफान का भी सामना किया, लेकिन उसे कुछ नहीं हुआ। वह पूरी तरह एक्टिव और वर्किंग है। नासा ने पार्कर सोलर प्रोब को सूर्य के बाहरी वायुंमडल, कोरोना के अलग-अलग पहलुओं का पता लगाने, धरती पर प्रभाव डालने वाली सौर हवा, चुंबकीय क्षेत्र और अंतरिक्ष में मौसम की जानकारी को समझने के लिए लॉन्च किया है। पार्क सूर्य के रहस्यमयी शक्तियों और व्यवहार के विषय में जानकारियां इकट्ठा करता है।
यह भी पढ़ें:पृथ्वी-ब्रह्मांड के अंत की कहीं ये शुरुआत तो नहीं! पढ़ें वैज्ञानिकों की नई रिसर्च
पार्कर सोलर प्रोब के बारे में अधिक जानकारी
बता दें कि पार्कर सोलर प्रोब ने 22 मार्च को सूर्य की सतह के पास जाकर 23वीं रिकॉर्ड तोड़ा। इस दौरान उसने 3.8 मिलियन मील की यात्रा की। पार्कर सूर्य के पास उस पॉइंट पर पहुंचा, जिसे पेरिहेलियन के नाम से जाना जाता है। पार्कर 430000 मील प्रति घंटे (692000 किलोमीटर प्रति घंटे) की अभूतपूर्व स्पीड से यात्रा कर रहा है। अंतरिक्ष में पहुंचने के बाद से अब तक स्पेसक्राफ्ट मैरीलैंड के लॉरेल स्थित जॉन्स हॉपकिन्स एप्लाइड फिजिक्स की एक लैब से कॉन्टैक्ट में हैं। दूसरी बार पार्कर सूर्य के इतने करीब पहुंचा है।
यह भी पढ़ें:चांद पर मिला दुर्लभ ‘खजाना’! चंद्रयान-3 के लैंडर विक्रम के डेटा की रिसर्च में चौंकाने वाला खुलासा
कब लॉन्च हुआ सोलर पोकर प्रोब?
बता दें कि सोलर पोकर प्रोब साल 2018 में लॉन्च किया गया था। यह नासा का ड्रीम प्रोजेक्ट है। इसे सूर्य की सतह की अत्यधिक गर्मी और चुंबकीय क्षेत्रों की जानकारी प्राप्त करने के लिए बनाया गया है। इसमें स्पेशली डिजाइन की गई हीट शील्ड का इस्तेमाल किया है, जो 2500 डिग्री फॉरेनहइट (1377 डिग्री सेल्सियस) तक के तापमान को सहने की क्षमता रखती है। इस मिशन ने सौर गतिविधियों से जुड़ा अहम डेटा कलेक्ट करके भेजा है, जिस पर रिसर्च जारी है।