First Swine Flu Case In Human Being: पहले कोरोना ने पूरी दुनिया में आतंक मचाया। अब जहां चीन में माइक्रोप्लाज्मा निमोनिया आतंक मचा रहा है, वहीं ब्रिटेन ने भी दुनिया को डराना शुरू कर दिया है। दरअसल, ब्रिटेन में स्वाइन फ्लू के H1N2 स्ट्रेन से संक्रमित शख्स मिला है। यह सूअरों में मिलने वाला स्ट्रेन है, लेकिन पहली बार किसी इंसान को इस स्ट्रेन का स्वाइन फ्लू हुआ है, जिसकी पुष्टि UK की स्वास्थ्य सुरक्षा एजेंसी ने भी कर दी है। उत्तरी यॉर्कशायर में एक युवक को सांस लेने में परेशानी हो रही थी। टेस्ट किया गया तो उसमें स्वाइन फ्लू का H1N2 स्ट्रेन मिला। संक्रमित युवक का सूअरों से संपर्क या कोई कनेक्शन भी नहीं मिला है, यानी अभी तक इस स्ट्रेन का सोर्स नहीं मिला है। वहीं अभी यह भी पता नहीं चला है कि इंसान में मिला स्वाइन फ्लू का यह H1N2 स्ट्रेन कितना संक्रामक है और ब्रिटेन में इसके कितने केस और हो सकते हैं। ऐसे में अभी यह कहना भी जल्दबाजी होगा कि यह महामारी है।
बीमारी के कारण दुनिया में पहले लग चुकी इमरजेंसी
मीडिया रिपोर्ट के अनुसार, साल 2009 में अमेरिका के मिशिगन में एक नाबालिग को स्वाइन फ्लू हुआ था। स्वाइन फ्लू सांस की संक्रामक बीमारी है। पहला केस मिलने के बाद डॉक्टरों ने इस फ्लू के 3 स्ट्रेन H1N1, H1N2 और H3N2 पता लगाए। यह बीमारी खासकर सूअरों को होती है, लेकिन अगर इंसान सूअरों के संपर्क में आता है तो यह उन्हें भी संक्रमित कर सकता है। इसी वजह से सर्दी के मौसम में स्वाइन फ्लू ने दुनियाभर में इंसानों को अपनी चपेट में लिया। 2009 में स्वाइन फ्लू के H1N1 स्ट्रेन की चपेट में आने से ब्रिटेन में 474 लोगों की मौत हुई थी। इसके बाद दुनिया भर में इस बीमारी को लेकर इमरजेंसी लग गई थी। 2005 में H1N2 के दुनियाभर में केवल 50 मरीज स्पॉट हुए थे। इस बार ब्रिटेन में H1N2 स्ट्रेन का केस मिला है, जिसने इंसान को संक्रमित किया, हालांकि वह स्वस्थ हो चुका है, लेकिन क्योंकि स्वाइन फ्लू संक्रामक बीमारी है, इसलिए बीमारी से और लोगों के संक्रमित होने का खतरा मंडरा गया है।
संक्रमण को फैलने से रोका तो नहीं बनेगी महामारी
मीडिया रिपोर्ट के अनुसार, ब्रिटेन के स्वास्थ्य मंत्रालय ने सूर पालकों के लिए एडवाइजरी जारी कर दी है कि अगर किसी सूअर को फ्लू हो तो तुरंत रिपोर्ट किया जाएगा। UK की हेल्थ सिक्योरिटरी एजेंसी ने विश्व स्वास्थ्य संगठन (WHO) को भी इसकी जानकारी दे दी है, जबकि संगठन पहले ही चीन के निमोनिया से डील करने में जुटा है। ऐसे में अब इस नई बीमारी ने टेंशन बढ़ा दी है। रेगुलर इन्फ्लूएंजा और स्वाइन फ्लू के लक्षण बहुत मिलते-जुलते हैं। गर्मी में और मानसून के मौसम में स्वाइन फ्लू के केस बढ़ जाते हैं। हालांकि इस बीमारी से बचाव की वैक्सीन है। एंटीवायरल उपचार भी किया जा सकता है। साफ-सफाई का ध्यान रखकर और मास्क पहनकर इसका संक्रमण फैलने से रोका जा सकता है, लेकिन क्योंकि यह संक्रामक बीमारी है, इसलिए महामारी बनकर भी फैल सकती है। बुखार, सिरदर्द, डायरिया, खांसी, छींक आना, ठंड लगना, गले में खराश, थकान, नाक ब्लॉक होना स्वाइन फ्लू के लक्षण हैं।
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