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Pervez Musharraf: कश्मीर पर लाए थे यह चार सूत्रीए ऐतिहासिक समझौता, बनते-बनते बिगड़ गई थी बात

परवेज मुशर्रफ: पाकिस्तान के पूर्व प्रधानमंत्री परवेज मुशर्रफ का 79 साल की उम्र में रविवार को निधन हो गया है। दुबई में लंबे समय बीमार रहने के बाद उन्होंने दमतोड़ दिया। साल 1965, 1971 के युद्ध के अलावा उन्हें कश्मीर मुद्दे पर लाए अपने चार सूत्रीय समझौता प्रस्ताव के लिए हमेशा याद किया जाएगा। इसके अलावा […]

Edited By : Amit Kasana | Updated: Feb 6, 2023 11:30
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परवेज मुशर्रफ

परवेज मुशर्रफ: पाकिस्तान के पूर्व प्रधानमंत्री परवेज मुशर्रफ का 79 साल की उम्र में रविवार को निधन हो गया है। दुबई में लंबे समय बीमार रहने के बाद उन्होंने दमतोड़ दिया। साल 1965, 1971 के युद्ध के अलावा उन्हें कश्मीर मुद्दे पर लाए अपने चार सूत्रीय समझौता प्रस्ताव के लिए हमेशा याद किया जाएगा। इसके अलावा उन्हें करगिल घुसपैठ का आर्किटेक्ट भी कहा जाता है।

पूर्व पीएम वाजपेयी ने की थी भारत की अगुवाई

जानकारी के मुताबिक जुलाई 2001 में मुशर्रफ भारत आए थे। उस समय आगरा में भारत-पाकिस्तान के प्रतिनिधिमंडलों के बीच कश्मीर मुद्दे के समझौता प्रस्ताव पर बात हुई थी। भारत की ओर से प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी समझौते की अगुवाई कर रहे थे तो उधर सामने पाकिस्तान के पीएम परवेज मुशर्रफ थे।

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समझौते के लिए रखे गए थे यह चार बिंदु

मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक मुशर्रफ के प्रस्ताव के मुताबिक कश्मीर की सीमाएं नहीं बदलेगी लेकिन नियंत्रण रेखा के दोनों ओर के लोगों के लिए पूरे क्षेत्र में मुक्त आवाजाही की अनुमति होनी चाहिए। दूसरा, वह चाहते थे कि जम्मू कश्मीर के लोगों को अधिक स्वायत्तता मिले। लेकिन कश्मीर को आजादी नहीं दी जाएगी। तीसरा, भारत और पाकिस्तान दोनों को इस क्षेत्र में स्थायी शांति के लिए एलओसी से सैनिकों को वापस करना होगा। चौथा, कश्मीर में संयुक्त निगरानी की एक व्यवस्था विकसित हो। इसमें स्थानीय कश्मीरियों को भी शामिल किया जाए। लेकिन भारत को कश्मीर में संविधान के अनुच्छेद 370 को नहीं हटाना मंजूर नहीं था और यह समझौता होते-होते रह गया था।

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परवेज मुशर्रफ

मुशर्रफ ने अपनी किताब में किया है जिक्र

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मुशर्रफ ने अपनी किताब ‘इन द लाइन ऑफ फायर’ में लिखा है कि साल 2001 में गुजरात भूकंप के बाद उन्होंने भारत के प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी को फोन किया। फोन पर मदद की पेशकश की। इसके बाद उन्हें वाजपेयी ने भारत आने का निमंत्रण दिया। जहां उन्होंने कश्मीर पर समझौता प्रस्ताव पेश किया था। लेकिन कई बैठकों दौर के बाद समझौता पर एक राय होते-होते रह गई। इसके अलावा परवेज मुशर्रफ को करगिल घुसपैठ का आर्किटेक्ट भी कहा जाता है। गौरतलब है कि 11 अगस्त 1943 को दिल्ली के दरियागंज मुशर्रफ का जन्म हुए था। इसके बाद उनका परिवार 1947 में बंटवारे के बाद दिल्ली से कराची चला गया था।

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First published on: Feb 05, 2023 08:50 PM
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